पीओ पहुंचे लखनऊ, टेंडर पर फैसला आज
डूडा दफ्तर में शुक्रवार को हुए पूरे घटनाक्रम के बाद से लापता चल रहे पीओ दो दिन के अवकाश के बाद सोमवार को दफ्तर खुलने पर भी नहीं पहुंचे।
जागरण संवाददाता, बरेली : डूडा दफ्तर में शुक्रवार को हुए पूरे घटनाक्रम के बाद से लापता चल रहे परियोजना अधिकारी (पीओ) दो दिन के अवकाश के बाद सोमवार को दफ्तर खुलने पर भी नहीं पहुंचे। सरकारी मोबाइल नंबर भी बंद रहा। बताया जा रहा कि वह सोमवार को लखनऊ में राज्य नगरीय विकास अभिकरण और नगर विकास विभाग में थे। चर्चा है कि विधायक की मौजूदगी में हुए घटनाक्रम के बाद से पीओ विनय सिंह अब बरेली से स्थानांतरण की फिराक में हैं। हालांकि, संपर्क न हो पाने के चलते इसकी पुष्टि नहीं हो सकी। उधर, शहर लौटते ही डीएम वीरेद्र कुमार सिंह ने पूरे प्रकरण की जड़ रही टेंडर की फाइल तलब कर ली। इस पर मंगलवार को निर्णय होगा।
यह हुआ था घटनाक्रम
शुक्रवार को बिथरी चैनपुर के विधायक राजेश मिश्रा उर्फ पप्पू भरतौल अनियमितताओं की शिकायत पर डूडा कार्यालय पहुंचे थे। यहां पर विधायक ने कामों को लेकर जानकारी की थी। इसी दौरान मारपीट की चर्चा फैली थी। हालांकि, तीन दिन में न तो पीओ विनय सिंह ने इसकी पुष्टि की और न कहीं तहरीर दी। घटनाक्रम के बाद से पीओ संपर्क से बाहर हैं।
डीएम ने ली जानकारी, फाइल मंगाई
जिलाधिकारी वीरेंद्र कुमार सिंह गुरुवार से ही शहर से बाहर थे। सोमवार को कमिश्नर की बैठक के बाद शाम को पूरे घटनाक्रम और उसके कारणों की जानकारी की। सूत्रों के मुताबिक डीएम दफ्तर से भी डूडा के पीओ को फोन लगवाया गया, लेकिन नंबर बंद था। डीएम ने विवाद का कारण माने जा रहे डूडा के छह करोड़ के निर्माण कार्य के टेंडर की फाइल मंगा ली है।
प्रमुख सचिव की कान्फ्रेंस में नहीं पहुंचे
प्रधानमंत्री दुर्बल आय वर्ग के आवास योजना की प्रगति के लिए प्रमुख सचिव आवास नितिन रमेश गोकर्ण ने वीडियो कान्फ्रेंस बुलाई थी। इसके लिए डूडा पंजीकरण का नोडल विभाग है। पीओ को सभी बिंदुओं पर फाइल तैयार कर कान्फ्रेंस में पहुंचना था। लेकिन, शासन की कान्फ्रेंस में भी नहीं आए।
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प्रकरण की जानकारी हुई है। टेंडर से संबंधित फाइल कार्यालय में भेजी गई है। इसके सभी तथ्यों और बिंदुओं पर विचार के बाद ही कोई निर्णय लिया जाएगा।
-वीरेंद्र कुमार सिंह, डीएम