NGT Action : जानिए पर्यावरण सचिव ने बरेली डीएम को क्यों दी हर महीने लाख रुपए हर्जाना वसूलने की चेतावनी
जलवायु परिवर्तन विभाग के सचिव ने बरेली की कार्ययोजना तलब की है। नाराजगी जाहिर करते हुए लिखा कि 31 अगस्त तक कार्यायोजना नहीं मिलने पर बतौर हर्जाना हर महीने एक लाख रुपये वसूला जाएगा
बरेली, जेएनएन। नदी, तालाब, पोखर, नहर को बचाने के प्रयासों के बारे पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के सचिव ने बरेली की कार्ययोजना तलब की है। नाराजगी जाहिर करते हुए लिखा कि 31 अगस्त तक कार्यायोजना नहीं मिलने पर बतौर हर्जाना हर महीने एक लाख रुपये वसूला जाएगा। डीएम नितीश कुमार ने सभी उपजिलाधिकारियों को कार्ययोजना तैयार करने के निर्देश जारी किए हैं।
पर्यावरण संरक्षण के लिए किए गए प्रयासों का ब्यौरा अब शासन ने तलब कर लिया है। ट्रंचिंग ग्राउंड, सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट, मैटेरियल रिकवरी फैसिलिटी (एमआरएफ), नदियों के शुद्धिकरण से लेकर करीब बीस बिंदुओं पर न तो कभी कार्ययोजना बनाई गई, न ही कार्यअवधि तय की गई। ऐसा पहली बार हुआ है कि बरेली प्रशासन को कार्ययोजना और कार्यअवधि दोनों तय करने के लिए कहा गया है। पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के सचिव संजय सिंह ने डीएम बरेली को चिट्ठी लिखी है कि राष्ट्रीय हरित अधिकरण नई दिल्ली ने वॉटर बॉडीज को पुनर्जीवन के लिए कार्ययोजना तैयार करने के लिए कहा है।
23 जुलाई 2020 को शासन के अधिकारियों के साथ इस मसले पर बैठक हो चुकी है। 30 जुलाई 2020 तक कार्ययोजना तलब की गई थी। लेकिन बरेली प्रशासन की तरफ से कार्ययोजना तैयार नहीं हो सकी। अब सचिव संजय सिंह ने सख्ती से कहा है कि डीएम जिले की कार्ययोजना को 31 अगस्त तक केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को उपलब्ध करा दें। उन्होंने कहा कि अगर कार्ययोजना नहीं दी जाती है तो हर महीने के हिसाब से एक लाख रुपये की क्षतिपूर्ति राज्य सरकार को देनी होगी। डीएम नितीश कुमार जोकि जिला वेटलैंड समिति के अध्यक्ष भी है, उन्होंने सभी उपजिलाधिकारियों को 24 अगस्त को निर्देश जारी किए कार्ययोजना 29 अगस्त तक विभाग को सौंप दी जाए।
सीवर ट्रीटमेंट प्लांट बने नहीं, नदियों में गिर रहा दूषित जल
क्षेत्रीय प्रदूषण अधिकारी रोहित सिंह ने बताया कि नदियों में गंदा पानी बिना उपचारित हुए गिर रहा है। सीवर ट्रीटमेंट प्लांट चार जगह प्रस्तावित है। भूमि चिन्हित हो चुकी है। जलनिगम और नगर निगम को अमृत योजना में बजट मिला हुआ है। लेकिन प्लांट बने नहीं है। सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट भी पटरी पर नहीं आ सका है। ऐसे में जल और वायु प्रदूषण बढ़ रहा है। बहगुल और अरिल नदी के पुनर्जीवन की फाइल हो रही तैयार रामगंगा नदी के शुद्धिकरण के लिए सीवर ट्रीटमेंट प्लांट तैयार होना चाहिए। प्रशासन बहगुल नदी, अरिल के पुनर्जीवन की फाइल मजबूती से तैयार करवा रहा है। मनरेगा के तहत लोगों को रोजगार देने के साथ नदी पर तटबंध निर्माण करवाए गए थे। साथ ही, नहरों की सफाई और तालाब और पाेखर के हुए कामों का ब्यौरा तैयार किया जा रहा है।
हवा शुद्धिकरण के लिए सुझाव :
इलेक्ट्रिक बसों का संचालन 360 दिन परिवहन विभाग
मल्टीपल पार्किंग सुविधा 360 दिन नगर निगम
बाइक जोन, साइकिल जोन 360 दिन नगर निगम
बैटरी चलित वाहन 120 दिन परिवहन विभाग
ओवरलोड वाहन प्रतिबंधित 180 परिवहन विभाग
रिमोट सेंसर बेस ट्रैफिक सिस्टम 180 दिन परिवहन विभाग
रोड डस्ट के लिए सुझाव :
33 फीसद वन क्षेत्र 360 वन विभाग, बीडीए, नगर निगम
सड़क किनारे पौधरोपण हो 360 सिंचाई विभाग, वन विभाग
चौराहों पर पानी के फव्वारा, सड़क किनारे घास 90 दिन नगर निगम
कूड़े के निस्तारण को सुझाव :
डोर टू डोर सूखा और गीला कूड़ा इकट्ठा करना 90 दिन नगर निगम
खाली पड़े प्लाॅट पर दो साल के लिए पौधरोपण 90 दिन नगर निगम
दिन, जिम्मेदारी हो रही निश्चित तैयार हो रही कार्ययोजना में ऐसा पहली बार होगा कि विभागों की जिम्मेदारी तय करते हुए दिन भी निश्चित किए जा रहे हैं। अधिकारियों के मुताबिक कार्यअवधि कोविड काल खत्म होने के बाद प्रभावी होगी।वर्जन पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के सचिव ने ब्यौरा मांगा है। कार्ययोजना के लिए सभी उपजिलाधिकारी को निर्देश दिए गए हैं। - नितीश कुमार, डीएम बरेली