बरेली के निजी अस्पताल के आइसीयू में बच्ची से सामूहिक दुष्कर्म, चार के खिलाफ केस दर्ज
मेधांश अस्पताल के आइसीयू में किशोरी के साथ दुष्कर्म के मामले में पुलिस ने रात से ही छानबीन शुरू कर दी। शुक्रवार रात में ही एक नामजद सहित तीन आरोपितों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया।
बरेली (जेएनएन)। सांप के काटने से पीडि़त बच्ची को पांच कामांध लोगों ने बदायूं रोड़ पर प्राइवेट अस्पताल के आइसीयू में अपनी हवस का शिकार बनाया। मेधांश अस्पताल में इलाज कराने आई बच्ची के साथ अस्पताल के स्टाफ तथा दो अन्य से दुष्कर्म किया। इस मामले में तीन लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है। लड़की को जिला अस्पताल में शिफ्ट किया गया है।
मेधांश अस्पताल के आइसीयू में किशोरी के साथ दुष्कर्म के मामले में पुलिस ने रात से ही छानबीन शुरू कर दी। शुक्रवार रात में ही एक नामजद सहित तीन आरोपितों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया। इसके बाद साक्ष्य जुटाए और सीसीटीवी फुटेज रिकॉर्ड कब्जे में ले लिया। कल दोपहर को बच्ची को मेधांश अस्पताल से डिस्चार्ज कराके जिला अस्पताल भर्ती कराया। उसका मेडिकल कराया जा रहा है।
आइसीयू की छानबीन, मरीजों हुए बयान
पड़ताल में पुलिस ने पाया वारदात वाली रात निजी अस्पताल की आइसीयू में आठ महिला मरीज भर्ती हुई थीं। इनमें से तीन महिला मरीज मिल गईं। आइसीयू की एक-एक जगह छानबीन के बाद इन तीनों महिला मरीजों के बयान भी लिए गए। फिलहाल तीनों ने ऐसी घटना से अनभिज्ञता जताई है। पुलिस ने अस्पताल का रिकार्ड कब्जे में ले लिया है। सीसीटीवी फुटेज भी दिखवाईं, इनमें दुष्कर्म के साक्ष्य नहीं मिले।
बेटी को छोड़ गांव चला गया पिता
रात में मुकदमा होने के बाद सुबह जिला अस्पताल में बच्ची का मेडिकल होना था। जब पुलिस निजी अस्पताल पहुंची तो पिता नहीं दिखा। काफी ढूंढा। फोन पर कॉल भी नहीं उठ रही थी। दोपहर में आनन-फानन भमोरा पुलिस को पीडि़ता के गांव भेजा। पिता गांव में मिला।
रिपोर्ट आने के बाद होगी कार्रवाई
सीओ सीमा यादव ने बताया कि घटनाक्रम काफी उलझा है। तमाम बिंदुओं पर जांच कर रहे हैं। मेडिकल रिपोर्ट आने के बाद पता चल जाएगा कि पीडि़ता से दुष्कर्म हुआ है या नहीं। पुष्टि हुई तो कार्रवाई तेज की जाएगी। अस्पताल के डॉक्टर, पिता और गांव वालों के बयानों से तीन कहानियां निकली हैं। पिता ने पुलिस को बुखार आने की बात बताई थी। बाद में सांप के काटने की बात कहने लगा।
रुपयों को लेकर विवाद सामने
जांच पड़ताल में पता चला पीडि़ता का पिता गरीब है। आईसीयू के महंगे इलाज के चलते उसने बुधवार को ही डाक्टरों से बेटी को ले जाने की बात कही थी। इसे लेकर उस दिन विवाद होने की भी चर्चा है।
केस दर्ज हो गया है, जांच जारी
एसएसपी मुनिराज जी ने बताया कि मुकदमा दर्ज कर जांच की जा रही है। सीसीटीवी फुटेज चेक की गई। उसमें कोई साक्ष्य नहीं मिले। इसके अलावा आइसीयू में भर्ती मरीजों के भी बयान दर्ज किए गए हैं। उन्होंने भी घटना से अनभिज्ञता जताई है। हर तथ्य की बारीकी से जांच की जा रही है।
भमोरा क्षेत्र के एक ग्रामीण ने बताया कि उसकी 16 वर्ष की बेटी को 29 अक्टूबर को बुखार आ गया था। पहले गांव के डॉक्टर को दिखाया। सही न होने पर डॉक्टर व पिता किशोरी को बदायूं रोड स्थित मेधांश अस्पताल में ले आए। यहां उसे आइसीयू में भर्ती कर लिया गया। पिता ने बताया कि उसे आइसीयू में घुसने नहीं दिया जाता था। बकौल पीडि़ता 30 अक्टूबर की रात को अस्पताल स्टाफ के पांच लोगों ने उसकी आंखों पर पट्टी बांध दी। इसके बाद उसके पैर बांधे। उसे नशे का इंजेक्शन लगाया गया था, लिहाजा वह विरोध भी नहीं कर सकी। इसी का फायदा उठाकर उसके कपड़े उतारे और पांचों ने दुष्कर्म किया। इनमें वह एक का नाम जानती है।
पीडि़ता के पिता ने बताया कि बेटी के मुंह पर मास्क लगा हुआ था। वह जब अंदर आइसीयू में जाते तो उससे जो कुछ पूछते थे वह मुंह हिलाकर हां या ना में जवाब दे देती थी। गुरुवार शाम को परिजन जब उसे अस्पताल से ले जाने लगे तब ऑक्सीजन मॉस्क हटाया गया। इसके बाद पीडि़ता ने परिवार वालों को अपने साथ घटित घटना के बारे में बताया। फिर मामला पुलिस तक गया। अस्पताल में किशोरी से सामूहिक दुष्कर्म की घटना की जानकारी होते ही पुलिस हरकत में आ गई। इंस्पेक्टर सुभाषनगर जगनारायण पांडेय व सीओ सीमा यादव अस्पताल पहुंची। पीडि़ता के बयान दर्ज किए। आइसीयू में जाकर देखा।
मास्क हटा तो बयां किया दर्द
मेधांश अस्पताल में सामूहिक दुष्कर्म का मामला उस समय सामने आया जब बिथरी विधायक पप्पू भरतौल ने अधिकारियों को फोन किया। दुष्कर्म के बारे में पता चला तो पुलिस मेधांश अस्पताल की ओर दौड़ी। पीडि़ता का कहना था कि मुंह पर ऑक्सीजन मास्क लगा था इसलिए बोल नहीं सकी। गुरुवार को मास्क हटा तब परिजनों को बताया। विधायक का कहना है कि गुरुवार को ही पीडि़त के पिता पुलिस चौकी गए थे मगर रिपोर्ट दर्ज नहीं की गई। यह घटना मंगलवार की शाम की बताई जा रही है। सीओ किला सीमा यादव ने बताया पीडि़ता थाने व चौकी नहीं गई। सीसीटीवी फुटेज देखी तो जिस बेड पर पीडि़ता लेटी थी वहां की फुटेज नहीं मिल सकी। पीडि़ता ने पांच में से एक का नाम पता बता दिया था। वह सामने आया मगर आरोपों को झूठा बताते हुए कहा कि उसे फंसाया जा रहा। बताया जा रहा कि पीडि़ता के पिता के पास इलाज के रुपये नहीं थे। विधायक पप्पू भरतौल ने बताया कि लड़की का पिता पुलिस चौकी गया मगर यादव दारोगा ने अनसुना कर दिया।