मासूमों के सिर से छिन गया पिता का साया, बुजुर्ग से बेटा
नन्हे व भान सिंह में गहरी दोस्ती थी। जिस वजह से दोनों ज्यादातर साथ ही रहते थे। मंगलवार को जब दोनों के शव खन्नौत नदी से बरामद हुए ।
शाहजहांपुर, जेेएनएन। नन्हे व भान सिंह में गहरी दोस्ती थी। जिस वजह से दोनों ज्यादातर साथ ही रहते थे। मंगलवार को जब दोनों के शव खन्नौत नदी से बरामद हुए तो परिजनों के साथ-साथ गांव के तमाम लोगों की आंखे नम हो गई।
नन्हे ङ्क्षसह खेती कर जैसे-तैसे परिवार का पालन-पोषण कर रहे थे। अब दोनों बेटों की जिम्मेदारी पत्नी कल्पना पर आ गई है। पति का शव जब घर पहुंचा तो उसके मुंह से सिर्फ एक ही बात निकल रही थी कि आखिर बीच सफर में साथ छोडऩे के बाद अब बच्चों की कैसे परवरिश करेंगे। बच्चों का भी पिता की मौत के बाद रो-रोकर बुरा हाल है। वहीं भान ङ्क्षसह दो भाई थे। पिता रामौतार की मौत के बाद बुजुर्ग मां विचना देवी की देखरेख ज्यादातर भान ङ्क्षसह ही कर रहे थे। बेटे की मौत से विचना देवी कई बार बेहोश होकर जमीन पर गिर पड़ी। भाई जय ङ्क्षसह का भी रो-रोकर बुरा हाल है।
सुबह होते ही खेतों पर तलाश करने निकल पड़े ग्रामीण
सोमवार शाम करीब छह बजे दोनों को नदी किनारे ग्रामीणों ने देखा था। देर रात तक जब दोनों घर नहीं पहुंचे तो गांव व रिश्तेदारी में जानकारी की गई लेकिन कोई सुराग नहीं लगा। इसके बाद सुबह होते ही परिजन व ग्रामीण खेतों पर तलाश करने निकल पड़े। जब धार्मिक स्थल के पास बाइक व कपड़े पड़े देखे तो परिजनों को किसी अनहोनी की आशंका लगी। इसके बाद गोताखोरों की मदद से नदी में तलाश शुरू कर दी। करीब पांच सौ मीटर दूरी पर दोनों के शव बरामद होने से चीख -पुकार मच गई।