सफाई व्यवस्था को बेहतर बनाने के प्रयास तेज, कूड़ा निगम के लिए चुनौती
अमेजो वेस्ट सॉल्यूशन कंपनी के साथ अनुबंध के बाद भी नगर निगम वाकरगंज में कूड़ा निस्तारण के लिए प्लांट नहीं लगा सका है।
बरेली(जेएनएन)। नगर निगम ने सफाई व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए प्रयास तेज किए हैं, लेकिन शहर का कूड़ा आज भी निगम के लिए बड़ी चुनौती बना है। सड़कों की सफाई तो होने लगी है, कूड़ा भी सड़कों से उठ रहा है। बावजूद इसके कूड़ा निस्तारण का प्रश्न लगातार बना हुआ है। शहर से निकलने वाले कूड़े का निस्तारण नहीं हो पा रहा है। इसके लिए बनाए जा रहे प्लाट अब तक नहीं लग पाया है, वही रजऊ परसपुर में लगा प्लाट भी बंद हो गया है। ऐसे में विश्व सफाई दिवस पर निगम के लिए यह कहना ठीक नहीं होगा कि शहर में सफाई व्यवस्था सही चल रही है।
--प्रयास सब किए लेकिन सफल नहीं
नगर निगम ने तीन साल पहले शहर को कूड़ा मुक्त करने के लिए डोर टू डोर कूड़ा कलेक्शन की व्यवस्था शुरू की थी। शुरुआत में यह योजना ठीक चली। पाच एजेंसियों को शहर के वार्डो में व्यवस्था के लिए लगाया गया। उसमें निगम का करीब छह करोड़ रुपये खर्च हो गया, लेकिन नतीजा कुछ नहीं निकला। उसके बाद हरी-भरी कंपनी से कूड़ा उठाने का अनुबंध हुआ, जो सभी वार्डो में योजना शुरू ही नहीं कर पाई। यह प्रयास भी सफल नहीं हो पाया और शहर में कूड़े की व्यवस्था जस की तस बनी हुई है।
--चलाया जा रहा अभियान
प्रभारी नगर आयुक्त ईश शक्ति कुमार सिंह ने बताया कि शहर में दो अक्टूबर तक विशेष सफाई अभियान चल रहा है। इसके तहत शहर के तीन बड़े एनजीओ को जिम्मेदारी दी गई है। इतना ही नहीं सभी पार्षद अपने वार्डो में सफाई अभियान चला रहे हैं। ठेके पर दी गई सड़कों पर विशेष अभियान चल रहा है।
--दस सड़कों का दिया जिम्मा
इधर बीते दिनों नगर निगम ने शहर की दस प्रमुख सड़कों की सफाई व्यवस्था का जिम्मा प्राइवेट एजेंसियों के हवाले किया है। उस सड़क पर एजेंसियों को ही अपने कर्मचारियों से सफाई करवानी है। यहा तक की कूड़ा उठाने और नाली की सफाई भी करनी है। कूड़ा उठाकर अपने ही वाहनों से बाकरगंज खड्ड तक छोड़ना भी है। इस व्यवस्था में सख्त शर्तो के कारण अधिकारी शहर की सफाई व्यवस्था सुधारने का दावा कर रहे हैं।
--महीने बीते, प्लाट नहीं लग पाया
नगर निगम ने अमेजो वेस्ट सौल्युशन कंपनी से बाकरगंज के कूड़े के निस्तारण का अनुबंध किया है। कंपनी को बाकरगंज में प्लाट लगा कर कूड़े का निस्तारण करना है। करीब छह महीने से अधिक समय निकलने के बावजूद कंपनी अपना प्लाट नहीं लगा पाई है। कंपनी की मशीनें भी वहा तक नहीं पहुंची हैं। प्लाट लगने और शुरू होने में अभी काफी समय लगने की संभावना है। वही, रोजाना निकलने वाला करीब चार सौ मीटिक टन कूड़ा बाकरगंज खड्ड पहाड़ को बढ़ा रहा है।