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Lockdown Game : गुजरात में प्रवासियों से वसूली कर रहा बड़ा नेटवर्क Bareilly News

गुजरात से लौटे प्रवासियों ने इस वसूली नेटवर्क के बारे में बताया। कहाकि किसी से छह सौ तो किसी से सात सौ रुपये वसूलने के बाद ही ट्रेन में बैठने दिया।

By Ravi MishraEdited By: Published: Mon, 18 May 2020 10:20 PM (IST)Updated: Mon, 18 May 2020 10:20 PM (IST)
Lockdown Game : गुजरात में प्रवासियों से वसूली कर रहा बड़ा नेटवर्क Bareilly News
Lockdown Game : गुजरात में प्रवासियों से वसूली कर रहा बड़ा नेटवर्क Bareilly News

बरेली, [अंकित शुक्ला] I प्रवासियों को घर भेजने के लिए सरकार ने श्रमिक स्पेशल ट्रेनों में निश्शुल्क यात्रा का निर्देश दिया मगर एजेंट उनसे वसूली में लग गए। गुजरात से लौटे प्रवासियों ने इस वसूली नेटवर्क के बारे में बताया। कहाकि किसी से छह सौ तो किसी से सात सौ रुपये वसूलने के बाद ही ट्रेन में बैठने दिया। जिसके रुपये न होने की बात कही, उसे धमकाया गया।

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लॉकडाउन में दूसरे राज्यो में फंसे प्रवासियों को घरों तक भेजने के लिए रेलवे राज्य सरकारों के अनुरोध पर श्रमिक स्पेशल ट्रेनें चला रहा है। रेलवे यात्रियों की संख्या के अनुसार किराया का 85 फीसद हिस्सा केंद्र व 15 फीसद हिस्सा राज्य सरकार से ले रहा। इसमें प्रवासियों से किसी तरह का किराया नहीं लिया जाना है।

ऐसे हो रहा आवेदन

गुजरात के जामनगर में एक फैक्ट्री में काम करने वाले मथुरा के आनंद वन निवासी ङ्क्षरकू शर्मा ने बताया कि वापसी के लिए ऑनलाइन आवेदन किया था। कुछ लोगों ने निजी स्तर से तो कुछ के आवेदन कंपनी की ओर से किए गए। जिसके बाद जानकारी दी गई कि रविवार को जामनगर से बरेली तक श्रमिक स्पेशल ट्रेन से उन्हें भेजा जाएगा। रविवार सुबह को कंपनी के बाहर ही एक बस पहुंची, जिसमें बैठकर स्टेशन तक पहुंचाना था।

रास्ते से बस में कई और प्रवासियों को बैठाया गया। इसके बाद बस में पहले से सवार एजेंसी के चार एजेंटों ने प्रत्येक से किराये के नाम पर सात सौ रुपये मांगे। कुछ लोगों के पास कम थे तो छह सौ ले लिए। जिन लोगों ने रुपये न होने और फ्री यात्रा की बात कही तो उन्हें धमकी दी कि रास्ते में ही उतार दिया जाएगा। सभी ने रुपये दिए, तभी रेलवे से जारी टिकट दिया गया। इसके बाद स्टेशन पहुंचे और टिकट दिखाने के बाद सीट मिल सकी।

राज्य सरकार की ओर से नामित की गई हैं नोडल एजेंसियां

करगैना पीलीभीत निवासी हुमा बेगम ने बताया कि गुजरात सरकार की ओर से नोडल एजेंसियां नामित की गई हैं। यही एजेंसियां प्रवासियों का ब्योरा अपने पास रखती हैं, रेलवे की ओर से जारी होने वाले फ्री टिकट भी वहां का प्रशासन इन्हीं एजेंसियों को सौंप देता है। उन्हें जिम्मेदारी दी जाती है कि प्रवासियों को ब्योरा लेकर उनकी स्क्रीनिंग करे और ट्रेन तक पहुंचाए। मगर वे लोग वसूली में लगे हुए हैं। उनसे भी सात सौ रुपये लिए गए।

गुजरात से आठ ट्रेनों से आ चुके 11,728 प्रवासी, सभी से वसूली

गुजरात के पालनपुर, जामनगर और साबरमती से अब तक कुल आठ ट्रेनों से 11,728 प्रवासी बरेली जंक्शन आ चुके हैं। इनमें सोमवार को आए 1882 लोग भी शामिल हैं। हर बार यात्रियों ने छह सौ से लेकर सात सौ रुपये तक की वसूली की बात कही। बरेली जंक्शन पहुंचने के बाद इन्हें परिवहन निगम की बस से संबंधित जिलों में गंतव्य तक भेजा जाता है। उनसे कोई किराया नहीं लिया जाता।

रेलवे किसी भी प्रवासी से टिकट का पैसा नहीं ले रहा है। गुजरात के साबरमती व जामनगर से आने वाली श्रमिक स्पेशल ट्रेनों में रुपये लिए जाने की जानकारी मिली थी। जिस पर वहां के डीआरएम को बताया गया है।- तरुण प्रकाश, डीआरएम मुरादाबाद रेल मंडल


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