केन नदी में किसान आज करेंगे जल सत्याग्रह
जागरण संवाददाता, बांदा : लघु-सीमांत का दायरा बढ़ाने को लेकर बुंदेलखंड किसान यूनियन का धर
जागरण संवाददाता, बांदा : लघु-सीमांत का दायरा बढ़ाने को लेकर बुंदेलखंड किसान यूनियन का धरना 16 वें दिन भी जारी रहा। शासन की ओर से कोई प्रतिक्रिया न होने पर आक्रोशित किसानों ने जल सत्याग्रह का निर्णय लिया है। संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष विमल कुमार शर्मा ने कहा कि शुक्रवार को एक सैकड़ा से अधिक किसान केन नदी जल सत्याग्रह कर विरोध दर्ज कराएंगे। यदि इसके बाद भी बात न बनी तो अब आंदोलन को और धार दी जाएगी।
राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कहा कि लघु सीमांत का दायरा बढ़ाना हमारा कानूनी हक है। कई दशक बीत चुके, लेकिन खेतों में पर्याप्त पैदावार नहीं हो सकी है। पिछले कुछ वर्षों से स्थिति तो यह है कि कभी अति वर्षा तो कभी ओलावृष्टि से खड़ी फसल बर्बाद हो रही हैं। यदि मुआवजे की बात आती है तो अन्य जिलों की तरह बुंदेलखंड के किसानों को भी आंका जाता है। जबकि अन्य जिलों में एक साल में कम से कम तीन फसल का उत्पादन करते हैं। जबकि बुंदेलखंड का किसान सिर्फ एक ही फसल करता है। वह भी बर्बाद होती रहती है। फसल बर्बादी के कारण किसानों को आत्महत्या करने पर मजबूर होना पड़ता है। सरकार को किसानों का यह दर्द समझना चाहिए। इसीलिए जल सत्याग्रह कर विरोध दर्ज कराने का निर्णय लिया गया है।
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गांव-गांव पहुंच रहीं टीमें
किसानों के आंदोलन को और धार देने के लिए बुंदेलखंड किसान यूनियन के पदाधिकारी गांव-गांव पंचायत कर रहे हैं। ज्यादा से ज्यादा किसानों को जुटाने की दिशा में काम हो रहा है। पहली टीम राष्ट्रीय उपाध्यक्ष श्रवण कुमार, राष्ट्रीय प्रवक्ता चतुर्भुज पटेल, दूसरी टीम में राष्ट्रीय महासचिव राधारण बाजपेई, बुंदेलखंड प्रभारी बाला जी के नेतृत्व में टीमें गांव-गांव पहुंचकर किसानों को आंदोलन में शामिल होने का आह्वान कर रही हैं। हालांकि उनसे यह भी कहा जा रहा है कि पहले वह फसल कटाई का काम कर लें।