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बदली जा रही खेत छोड़ शौचालय जाने की सोच

दुरुस्त कराने का निर्देश - जिलाधिकारी कृष्णा करुणेश का कहना है कि शौचालय का प्रयोग लोग करें। इसके लिए जागरूकता कार्यक्रम संचालित किए जा रहे हैं। साथ ही मानक विहीन शौचालयों की जांच कर दुरुस्त कराने का निर्देश दिया गया है।

By JagranEdited By: Published: Mon, 18 Nov 2019 11:27 PM (IST)Updated: Tue, 19 Nov 2019 06:12 AM (IST)
बदली जा रही खेत छोड़ शौचालय जाने की सोच
बदली जा रही खेत छोड़ शौचालय जाने की सोच

बलरामपुर : जिले में खुले में शौच मुक्त अभियान को बढ़ावा देने के लिए 2.26 लाख से अधिक शौचालय का निर्माण हो चुका है। इसके तहत गांव-गांव स्तर पर भी लोगों को जागरुक करने का प्रयास जोरों पर चल रहा है।

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पचपेड़वा ब्लॉक के थारू बहुल गांव कोहरगड्ढी कोड़र की महिला प्रधान शिवदेवी ग्रामीणों को शौचालय प्रयोग करने के लिए प्रेरित करतीं हैं। गांव की सप्पू देवी, राजकुमारी, राधा, रामप्यारी, विमला देवी व मंजू के साथ सुबह-शाम लोगों को खुले में शौच जाने से होने वाले नुकसान की जानकरी देतीं है। प्रधान का दावा है कि ग्राम पंचायत में 153 शौचालय बने हैं। सभी लाभार्थी उसका प्रयोग कर रहे हैं। जिनके प्रयोग न करने की सूचना मिलती है। उनके यहां जाकर कारण पूछा जाता है। कहतीं है कि लोगों की सोच बदल रही है। गांव के लोग अपनी आदत में सुधार ला रहे हैं। रोजगार सेवक मोहम्मद सलीम खां, जय सिंह व विनय का भी सहयोग लिया जाता है।

सदर ब्लॉक के देवरावा गांव के प्रधान मुन्नी देवी ने बताया कि 132 शौचालय बने हैं। दावा है कि लाभार्थी उसका प्रयोग कर रहे हैं। खुले में शौच न जाएं। इसके लिए नियमित संपर्क कर लोगों को फायदा व नुकसान बताया जाता है। जिससे गांव खुले में शौच मुक्त रहे। इसीलिए गत दिनों कमिश्नर साहब का दौरा भी लगा था।

सवा दो लाख से अधिक शौचालय का दावा : बेसलाइन सर्वे के तहत जिले में 2,26,082 शौचालयों का निर्माण कराया गया है। जिले के सभी 999 राजस्व गांवों में शौचालय का लक्ष्य पूरा कर लिया गया है। उसी आधार पर नवंबर 2018 में जिले को खुले में शौचमुक्त घोषित कर दिया गया है। सर्वे में छूट गए लोगों को भी योजना का लाभ देने के लिए जिले से करीब 75 हजार शौचालय की मांग की गई थी। जिसके सापेक्ष 50,145 की स्वीकृति मिली है, जो निर्माणाधीन हैं। लोगों को शौचालय का प्रयोग करने के लिए प्रेरित किया जा रहा है।

दुरुस्त कराने का निर्देश - जिलाधिकारी कृष्णा करुणेश का कहना है कि शौचालय का प्रयोग लोग करें। इसके लिए जागरूकता कार्यक्रम संचालित किए जा रहे हैं। साथ ही मानक विहीन शौचालयों की जांच कर दुरुस्त कराने का निर्देश दिया गया है।


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