..और दूर हो जाता है खेखरमल का कुष्ठ रोग
जासं, बलिया : रंगभूमि संस्था द्वारा आयोजित भोजपुरी लोक नाटक सोरठी बिरजाभार का मंचन टाउन ह
जासं, बलिया : रंगभूमि संस्था द्वारा आयोजित भोजपुरी लोक नाटक सोरठी बिरजाभार का मंचन टाउन हाल बापू भवन में गुरुवार को किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि वरिष्ठ रंगकर्मी आशुतोष कुमार ¨सह, डा.जनार्दन राय, डा.राजेंद्र भारती ने मां सरस्वती के चित्र के समक्ष दीप प्रज्ज्वलित कर किया। मुख्य अतिथि आशुतोष ¨सह ने कहा कि बलिया में रंगमंचीय परंपरा लाख विसंगतियों के बावजूद जीवित है, यह आश्चर्य का विषय है। डा.जनार्दन राय ने कहा कि रंगमंच पर प्रस्तुत नाटक लोकरंजन के साथ ही लोक मंगलकारी हो तो समाज को दिशा मिलती है। नाटक में राजा खेखरमल कोढ़ के रोग से ग्रस्त है। उनके दरबार के व्यास ऋषि बताते हैं कि सोरठपुर में सोरठी नाम की कन्या है अगर आपका उससे विवाह हो जाता है तो आपका यह रोग सदैव के लिए दूर हो जाएगा। सोरठपुर जाने के लिए खेखरमल के भांजा बिरजाभार का चयन होता है। बिरजाभार अंतत: सोरठी को अपने यहां राज्य में लाने में सफल होता है जिससे खेखरमल का कुष्ठ रोग दूर हो जाता है। नाटक के कलाकारों में हरिवंश, राहुल, मनीष केशरी, संजय ¨सह, जागृति उपाध्याय, मधु साहनी, शमीम, रंजन, प्रियंका गुप्ता, अनुराग थे। इस मौके पर रंगकर्मी विवेकानंद ¨सह, मोहन श्रीवास्तव, शैलेंद्र मिश्र, अभय ¨सह कुशवाहा, संस्था के सचिव चंदन साहनी, डा. इफ्तेखार खां, अभय ¨सह आदि मौजूद थे। संचालन नवीन पांडेय ने किया।