टूरिस्ट परमिट की आड़ में आ रही संक्रमितों की खेप
प्रवासियों की नहीं कराई जाती नियमित जांच कोरोना प्रोटोकॉल का पालन भी नहीं जांच के दौरान अब तक ढाई सौ से अधिक बाहर से आए कामगार पाए गए संक्रमित
बहराइच : टूरिस्ट परमिट की आड़ में दिल्ली, हरिद्वार, पंजाब, उत्तराखंड, राजस्थान, मध्य प्रदेश समेत कई राज्यों से प्रतिदिन हजारों की संख्या में प्रवासी बहराइच आ रहे हैं। पुलिस, एआरटीओ और खादी के गठजोड़ से चल रही बसों में आने वाले प्रवासियों में कितने लोग संक्रमित है? इसका वास्तविक अंदाजा नहीं लग रहा, क्योंकि बस संचालक सवारियों से कोविड रिपोर्ट भी लेना जरूरी नहीं समझते।
मंगलवार को नानपारा रोड से इमामगंज जाने वाले मार्ग पर चंडीगढ़ से बस में सवारियों को भूसे की तरह भरकर लाया गया। बस के चालक व परिचालक के अलावा बस मालिक ने न तो कोविड नियमों का पालन किया और न ही सवारियों ने मास्क लगाने की जहमत उठाई। बस में 100 से अधिक लोग सवार थे। नवाबगंज, हुजूरपुर, भग्गड़वा, फखरपुर, कैसरगंज, महसी, खैरीघाट, राजी चौराहा, मिहीपुरवा, शिवपुर, पयागपुर, जरवलरोड समेत कई स्थानों तक बड़े पैमाने पर बाहर के वाहन टूरिस्ट परमिट की आड़ में इसी तरह से सवारियों को ढो रहे हैं। यह हाल तब है, जब जिले में आने वाले प्रवासियों की जांच के दौरान अब तक ढाई सौ से अधिक लोग कोरोना संक्रमित पाए जा चुके हैं। इसके अलावा कोरोना से स्थिति निरंतर भयावह होती जा रही है। भारी जुर्माना, फिर भी बसों का आना-जाना
टूरिस्ट परमिट बनने के भी नियम है। प्रदेश व देश में भ्रमण करने वाली बसों को उसी हिसाब से टूरिस्ट परमिट दिया जाता है। कम से कम तीन दिन व ज्यादा से ज्यादा एक माह तक परमिट जारी होता है। टूरिस्ट परमिट पर सवारियां ढोने वाली बसों को सीज कर 10 हजार से लेकर दो लाख रुपये तक जुर्माने का प्रावधान है।
283 बसें जिले में रजिस्टर्ड
-31 बसें पर्यटकों के लिए पंजीकृत
-08 हजार रुपये टैक्स एक माह की टूरिस्ट परमिट के लिए -7600 रुपये प्रति माह टैक्स रूट पर चलने पर
टूरिस्ट परमिट की आड़ में सवारियों को ढोने वाले बस मालिकों पर कार्रवाई की जाएगी। टीम गठित कर ऐसे बसों को चिह्नित किया जा रहा है, जो टूरिस्ट परमिट लेकर कोविड-19 के नियमों को दरकिनार कर रहे हैं।
वीरेंद्र सिंह, सहायक संभागीय परिवहन अधिकारी