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टीका लगने से मासूम बच्ची की मौत, नौ गंभीर

बहराइच : शिवपुर ब्लॉक के रामपुर धोबिहार गांव में टीका लगने के बाद बुधवार की देर रात ढाई माह की मासूम

By JagranEdited By: Published: Thu, 07 Jun 2018 09:57 PM (IST)Updated: Thu, 07 Jun 2018 09:57 PM (IST)
टीका लगने से मासूम बच्ची की मौत, नौ गंभीर
टीका लगने से मासूम बच्ची की मौत, नौ गंभीर

बहराइच : शिवपुर ब्लॉक के रामपुर धोबिहार गांव में टीका लगने के बाद बुधवार की देर रात ढाई माह की मासूम बच्ची की मौत हो गई। डेढ़ दर्जन बच्चों की हालत बिगड़ने पर सभी को सीएचसी में भर्ती कराया गया है। टीका लगने से बालिका की मौत की खबर से स्वास्थ्य महकमे में हड़कंप मच गया। प्रभावित गांव में एसडीएम व सीएमओ चिकित्सकीय टीम के साथ पहुंचे। प्रभावित बच्चों का परीक्षण कराया गया। एएनएम के गलत टीकाकरण करने की आरोपों की जांच के लिए एसीएमओ के नेतृत्व में चार सदस्यीय जांच टीम गठित की गई है। टीका लगाने वाली एएनएम को यहां से हटा दिाय गया है।

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रामपुर धोबिहार गांव में एएनएम कोमल गुप्ता की ओर से टीकाकरण को लेकर चौपाल लगाया गया था। एएनएम ने 16 बच्चों को पोलियो, बीसीजी, पेंटा, आइवीपी व पीसीवी का टीका लगाया था। ग्राम प्रधान प्रतिनिधि माधवराम वर्मा ने बताया कि देर शाम प्रतिरक्षित बच्चों की हालत बिगड़ने लगी। इसमें ढाई माह की रुकसाना पुत्री मुहम्मद अहमद की मौत हो गई। इसके बाद गांव में हड़कंप मच गया। स्थिति को देखते हुए अन्य पीड़ित बच्चों को एंबुलेंस के जरिए सीएचसी नानपारा में भर्ती कराया गया। टीकाकरण के प्रभाव से बालिका की मौत की सूचना मिलते ही सीएमओ ने एमओआईसी डॉ. नलिन राजा को तत्काल प्रभावित गांव पहुंचकर इलाज मुहैया कराने को कहा। दोपहर में सीएमओ भी जिलास्तरीय टीम के साथ गांव पहुंचे। एएनएम के गलत टीकाकरण करने का आरोप लगा रहे हैं। एसीएमओ डॉ. अजीत चंद्रा, डब्ल्यूएचओ के डॉ. हरीशंकर, एमओआईसी डॉ. नलिन राजा की टीम जांच के लिए गठित की गई है। सीएमओ ने बताया कि अन्य बच्चों की हालत ठीक है। गांव में चिकित्सकों की टीम तैनात कर दी गई है। पूरे मामले की जांच की रही है। जांच रिपोर्ट आने के बाद जिम्मेदारों पर कार्रवाई होगी। एएनएम को तत्काल प्रभाव से यहां से हटा दिया गया है। इसकी पुष्टि सीएमओ ने की है।

बुखार का आना स्वाभाविक

बहराइच : टीकाकरण के बाद बच्चों में बुखार का आना स्वाभाविक है। जिला अस्पताल के सीएमएस डॉ. ओपी पांडेय के मुताबिक टीका सुरक्षित होता है। बुखार इस बात का प्रमाण भी है कि लगाया गया टीका ठीक है। कभी-कभी पहले से बीमार बच्चे को टीका लगाने पर तबियत खराब हो सकती है, इसीलिए टीका लगाने से पहले अभिभावकों से बच्चे की सेहत के बारे में जानकारी ली जाती है। संदेह होने पर जांच के बाद ही टीका लगाने के निर्देश दिए जाते हैं।

इन बच्चों का चल रहा इलाज

रामपुर धोबिहार में एएनएम कोमल गुप्ता की ओर से बुधवार को 16 बच्चों का टीकाकरण किया गया था। इनमें तीन माह की फातिमा, आठ माह के फैजाद,10 माह की कांती, छह माह की साक्षी, एक माह की वंदना, छह माह की मधू, राधिका व मुहम्मद अनश शामिल है। इनका इलाज सीएचसी में चल रहा है।

बोले सीएमओ

टीका लगने से बालिका की मौत होने की जांच हो रही है। लेकिन टीके से मौत असंभव है। जांच के बाद इस बात की पुष्टि हो पाएगी कि मौत की असल वजह क्या है।

डॉ. एके पांडेय, सीएमओ


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