लीजिए जनाब..चौधरी साहब लाए उन्नत किस्म का गन्ना
जागरण संवाददाता, बागपत : गन्ना खेती में बागपत का कोई सानी नहीं है। यहां के किसानों ने अब गन्
जागरण संवाददाता, बागपत : गन्ना खेती में बागपत का कोई सानी नहीं है। यहां के किसानों ने अब गन्ना खेती में बदलाव लाने की मिसाल कायम की। रिजेक्ट प्रजातियों को आउट कर उन्नत किस्म की गन्ना प्रजातियों की खेती अपना ली। कुल गन्ना क्षेत्रफल में 81 फीसद पर उन्नत किस्म की फसल लहलहा रही है। इससे किसानों को उत्पादन दोगुना और दाम ज्यादा मिलेगा तो मिलों को मुनाफा। साफ है कि किसानों की गाड़ी पीएम मोदी के कृषि आय दोगुनी करने के ट्रैक पर फर्राटा भरने लगी है।
बागपत में तीन साल पूर्व यानी कि साल 2015 में कुल गन्ना क्षेत्रफल में महज 09 फीसद पर उन्नत गन्ना प्रजाति व 70 फीसद क्षेत्रफल पर रिजेक्ट प्रजाति की गन्ना खेती होती थी। वहीं सीएम योगी के सूबे की कमान संभालते ही गन्ना खेती में सुखद बदलाव हुआ है। गन्ना विभाग की ताजा सर्वे रिपोर्ट के अनुसार, चालू साल में 31320 हेक्टेयर पर गन्ना बुआई हुई, जिसमें 93.49 फीसद उन्नत प्रजाति का गन्ना है। वहीं 38131 हेक्टेयर पर पेड़ी गन्ना है जिसमें 60 फीसद उन्नत प्रजाति है। साफ है कि बागपत में कुल गन्ना क्षेत्रफल में 81 फीसद पर को-0238, को-0118,को-0232, को-0239, को-03234 तथा को-64 जैसी उन्नत गन्ना प्रजाति की फसल लहलहा रही है। बाकी 19 फीसद क्षेत्रफल पर सामान्य प्रजातियों का गन्ना खेत में खड़ा है। वहीं रिजेक्ट प्रजाति का सफाया हो गया है। बागपत के किसान राजेंद्र ¨सह तथा बाघू के र¨वद्र कुमार कहते हैं कि सामान्य और रिजेक्ट प्रजाति का गन्ना जहां प्रति बीघा 50 कुंतल उत्पादन होता है वहीं उन्नत प्रजाति का गन्ना 90 से 100 कुंतल तक होगा।
उन्नत गन्ना प्रजाति का फायदा
-प्रति हेक्टेयर 1125 कुंतल उत्पादन।
-एक माह पहले फसल पकना आम।
-गेहूं फसल बुआई भी वक्त से होगी।
-प्रति कुंतल है 10 रुपये ज्यादा दाम।
-मिलों को चीनी परता ज्यादा मिलेगा।
-समय से गन्ना भुगतान मिलने लगेगा।
गन्ना खेती के क्षेत्रफल का ब्योरा
क्षेत्र हेक्टेयर में
बागपत 27021
रमाला 21078
मलकपुर 25979
इन्होंने कहा..
वाकई किसानों का गन्ना खेती में बदलाव तारीफ-ए-काबिल है। गन्ना विभाग तथा चीनी मिलों ने भी किसानों को उन्नत प्रजाति का गन्ना बीज उपलब्ध कराया और प्रेरित किया है।
-सुशील कुमार-डीसीओ।