चार विशेषज्ञ की निगरानी में रहेंगे कोरोना से पीड़ित नवजात
कोरोना वायरस की तीसरी लहर में बच्चों के बीमार होने का खतरा ज्यादा है। इनके मद्देनजर स्वास्थ्य विभाग ने पर्याप्त व्यवस्था कर ली है। तीसरी लहर का अटैक होता है तो पीकू और नीकू सेटरों में चार विशेषज्ञ चिकित्सकों की निगरानी में संक्रमित बच्चों का इलाज किया जाएगा।
बागपत, जेएनएन: कोरोना वायरस की तीसरी लहर में बच्चों के बीमार होने का खतरा ज्यादा है। इनकी सुरक्षा पर स्वास्थ्य विभाग का ज्यादा फोकस है। इसके मद्देनजर जिले में विशेषज्ञ चिकित्सकों को जिम्मेदारी दे दी गई है। इनमें चार बाल रोग विशेषज्ञ शामिल हैं। वे पीकू (पीडियाट्रिक इंटेंसिव केयर यूनिट) और नीकू (नियोनेटल इंटेंसिव केयर यूनिट) सेंटर में नवजात बच्चों से लेकर बड़े बच्चों तक का इलाज करेंगे।
कोरोना से बचाव के लिए स्वास्थ्य विभाग के पास मैन पावर की कमी नहीं है। पीकू और नीकू से लेकर एल-2 श्रेणी में विशेषज्ञ डाक्टर नियुक्त किए गए है। यहां पर वेंटीलेटर से लेकर अन्य उपकरण भी भरपूर हैं।
सीएमओ डा. दिनेश कुमार ने बताया कि जिले में पर्याप्त विशेषज्ञ डाक्टर और एमबीबीएस डाक्टर हैं। जिला अस्पताल में जहां 40 बेड का पीकू और नीकू सेंटर बनाया गया है, वहां पर बाल रोग चार विशेषज्ञ डाक्टर तैनात रहेंगे। उनकी आठ-आठ घंटे की ड्यूटी निर्धारित की गई है। इसके अलाव अन्य पैरामेडिकल स्टाफ की भी तैनाती कर दी गई। सीएमओ डा. दिनेश कुमार ने बताया कि पीकू-नीकू सेंटर के लिए बाल रोग विशेषज्ञ डा. राज सिंह को नोडल अधिकारी नियुक्त किया गया है। उनकी निगरानी में बच्चों का इलाज किया जाएगा। यहां पर वेंटीलेटर से आक्सीजन की कमी नहीं होगी। कर्मचारी से लेकर उपकरण तक भरपूर हैं।
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ये है विशेषज्ञ डाक्टर और
कर्मचारियों की व्यवस्था
पीकू और नीकू सेंटर में चार बाल रोग विशेषज्ञ, तीन एमबीबीएस डाक्टर, 10 स्टाफ नर्स, तीन फार्मासिस्ट, 10 चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी। यहां पर 15 वेंटीलेटर, पांच बेड आइसोलेशन, 10 बेड 27 दिन के बच्चों के भर्ती करने के लिए। बाकी बेड आक्सीजन वाले। वहीं एल-2 अस्पताल खेकड़ा में दो विशेषज्ञ डाक्टर और चार एमबीबीएस डाक्टर नियुक्त रहेंगे। इसी तरह सरूरपुर कलां में भी तैनाती। इन दोनों अस्पतालों 75-75 बेड अधिकृत हैं। इनमें पांच-पांच वेंटीलेटर है। वहीं इमरजेंसी के लिए सभी सीएचसी पर दो-दो आइसीयू बेड की व्यवस्था सुनिश्चित की गई है।
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पीकू व नीकू सेंटर के लिए
डाक्टर, नर्स प्रशिक्षित
पीकू व नीकू सेंटर के लिए जिले की सभी सीएचसी और पीएचसी के डाक्टर, स्टाफ नर्स, नर्स को आइसीयू संचालित करने का प्रशिक्षण दिया गया है। वायरस ज्यादा प्रभावित करता है तो भी ये सभी व्यवस्था को संभाल लेंगे।