कर्मचारियों का धरना व आमरण अनशन समाप्त
आठ दिन से ठेका प्रथा के विरोध में संविदा कर्मचारियों का धरना और आमरण अनशन सोमवार को मांग पूरी होने पर समाप्त हो गया। एसडीएम ने आमरण अनशन पर बैठे दो कर्मचारियों को जूस पिलाकर उनका अनशन समाप्त कराया।
बागपत, जेएनएन। आठ दिन से ठेका प्रथा के विरोध में संविदा कर्मचारियों का धरना और आमरण अनशन सोमवार को मांग पूरी होने पर समाप्त हो गया। एसडीएम ने आमरण अनशन पर बैठे दो कर्मचारियों को जूस पिलाकर उनका अनशन समाप्त कराया।
सहकारी चीनी मिल रमाला में ठेका प्रथा के विरोध में संविदा कर्मचारी 23 सितंबर से धरने पर बैठे थे। चार दिन तक क्रमिक अनशन पर रहने के बाद दो दिन से दो कमर्चारियों आमरण अनशन शुरू कर दिया था। कई दिनों से क्षेत्र के जनप्रतिनिधि समस्या के समाधान के लिए प्रयासरत थे। सोमवार को छपरौली विधायक सहेंद्र सिंह, एसडीएम गुलशन कुमार, उपसभापति के पति सतेंद्र तुगाना दोपहर बाद कर्मचारियों के बीच पहुंचे। उन्होंने धरने के बीच ही प्रधान प्रबंधक प्रबुद्ध चौबे को बुलाया कर्मचारियों ने ठेका प्रथा खत्म कर यथा स्थिति बनाने व न्यूनतम वेतनमान 12000 हजार करने की मांग रखी। प्रधान प्रबंधक ने ठेका प्रथा समाप्त करने व न्यूनतम वेतन पर बोर्ड से पास कराकर डीएम व फेडरेशन को भेजने का आश्वासन दिया। दोनों मांगों पर सहमति बनने के बाद धरना और आमरण अनशन समाप्त हो गया। एसडीएम, सीओ रामनंद कुशवाहा व छपरौली विधायक ने आमरण अनशन पर बैठे रवि दूहण व अंकित शर्मा को जूस पिलाकर अनशन समाप्त कराया। इस मौके पर कृष्णपाल चेयरमैन, भोपाल सिंह, जिला पंचायत सदस्य राजेंद्र सिंह, राजपाल सिंह, रविद्र मुखिया, राजकुमार प्रधान, सतीश चौहान आदि मौजूद थे। उधर, अब धरने पर गए संविदा कर्मचारी काम पर लौट आएंगे।