अनाज घोटाले में शामिल हैं फर्रुखाबाद के कई माफिया
जिले के अलापुर में हुए गेहूं खरीद घोटाले की पटकथा फर्रुखाबाद के अनाज माफिया के इशारे पर रची गई।
बदायूं : जिले के अलापुर में हुए गेहूं खरीद घोटाले की पटकथा फर्रुखाबाद के अनाज माफिया के इशारे पर रची गई थी। जांच एजेंसी ने दातागंज में हुए घोटाले के मास्टरमाइंड और उसके रिश्तेदार कारोबारियों के बारे में कड़ी-दर-कड़ी जोड़ी तो यह चौंकाने वाला नया तथ्य सामने आया। वहां पर जांच टीमों को कई अहम सुराग मिले हैं। कई संदिग्धों के बयान भी दर्ज किए हैं। पूरी जांच में कई बड़े नाम भी शामिल हो सकते हैं।
दातागंज में हुए 1.38 करोड़ के गेहूं घोटाले में चार लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ था। इस घोटाले का मास्टरमाइंड ओमेंद्र गुप्ता सहित चार आरोपित जेल भेजे गए थे। तीन आरोपित जमानत पर बाहर आ गए, लेकिन ओमेंद्र जेल में है। जांच एजेंसी ने उसके नेटवर्क को गोपनीय तरीके से खंगाला।
करते थे अनाज की डील, रची जालसाजी
मामले से जुड़े कुछ संदिग्धों तक जांच पहुंची। जांच एजेंसी ने पूछताछ की तो पता चला कि स्थानीय मास्टरमाइंड के पास फर्रुखाबाद के कई करीबी आढ़ती अक्सर बदायूं में अनाज की डील के लिए आते थे। जालसाजी की पटकथा उन्होंने ही तैयार कराई थी। तब यहां से सरकारी गोदाम में पहुंचने वाला गेहूं इधर-उधर गायब किया गया।
पहले दूसरे ठिकाने, फिर दिल्ली पहुंचा था गेहूं
बदायूं से गेहूं पहले फर्रुखाबाद के माफिया के ठिकाने पर पहुंचा था। वहां से दिल्ली के खाद्य कारोबारियों से डील कर गेहूं भेजा गया था। अब अलापुर का मामला सामने आया तो जांच एजेंसियां अलर्ट हुई। इस घोटाले की जड़ें भी फर्रुखाबाद में होने के संकेत मिले हैं। जांच टीम साक्ष्यों की तलाश में जुटी है। वर्जन..
मामले की हर ¨बदु पर जांच की जा रही है। विभागीय जांच में जो दोषी निकले, उन पर कार्रवाई की जा चुकी है। पुलिस की तफ्तीश पूरी होने के बाद ही सामने आएगा कि अनाज माफिया कहां-कहां से जुड़े हुए हैं।
-महेंद्र सिंह, एडीएम वित्त एवं राजस्व