मुबारकपुर में सीएए के खिलाफ महिलाओं ने भरी हुंकार
जागरण संवाददाता अमिलो (आजमगढ़) नागरिकता सशोधन कानून एनआरसी और एनपीआर के खिलाफ बुधवार को आधी आबादी ने हुंकार भरी। हाथ में तिरंगा और छोटे बच्चों को लेकर पहुंचीं महिलाओं ने विरोध प्रदर्शन किया और कहा कि सरकार को जनता की आवाज दबाने की बजाय उसे सुननी चाहिए। खास बात यह रही कि आंदोलन का नेतृत्व भी महिलाओं के हाथ रही। विरोध प्रर्दशन को लेकर इंटर तक के विद्यालय व मदरसे भी बंद रहे।
जागरण संवाददाता, अमिलो (आजमगढ़) : नागरिकता सशोधन कानून, एनआरसी और एनपीआर के खिलाफ बुधवार को आधी आबादी ने हुंकार भरी। हाथ में तिरंगा और छोटे बच्चों को लेकर पहुंचीं महिलाओं ने विरोध प्रदर्शन किया। बोलीं सरकार को जनता की आवाज दबाने की बजाय सुननी चाहिए। खास रहा कि आंदोलन का नेतृत्व भी महिलाओं के हाथ रही। विरोध प्रर्दशन के कारण अधिसंख्य विद्यालय व मदरसे बंद रहे।
एक हाथ में तिरंगा, दूसरे में संविधान बचाओ नारे लिखी तख्तियां लिए नारेबाजी करते पहुंचीं महिलाओं ने कहा कि सरकार विरोध प्रदर्शन करने वालों को मुकदमे फंसा रही है। अंत में संघर्ष समिति की नेता सना परवीन ने राष्ट्रपति को संबोधित पांच सूत्रीय मांगों का ज्ञापन उपधिकारी अधिकारी सदर आशा राम को सौंपा। नौसिन, फिदाशफी, डा. शफा फरहीन, नूराज फातमा आदि ने अपनी बात रखी। भीड़ को देखते हुए एहतियात के तौर पर उपजिलाधिकारी के अलावा एसपी सिटी पंकज पांडेय, सीओ सदर अकमल खान, थाना प्रभारी अखिलेश कुमार मिश्र के अलावा कई थानों की पुलिस तैनात थी। कई दलों के नेता भी पहुंचे
अमिलो : विरोध प्रर्दशन की कमान जहां महिलाओं के हाथ थी वहीं कई दलों के नेता भी समर्थन में पहुंचे। विधायक शाह आलाम गुड्डू जमाली, सपा के निवर्तमान जिलाध्यक्ष हवलदार यादव, उलेमा कौसिल के नेता मौलाना ताहिर मदनी, नूरुलहोदा आदि ने भी विचार व्यक्त किए।