जनता ने बनवाया पुल, सरकार ने मूदीं आंखें
लिए भी होता है बसों का आवागमन जागरण संवाददाता तरवां (आजमगढ़) तरवां क्षेत्र के बेलहाडीह और खरिहानी के बीच डंडवा खास गांव के पास बेसो नदी पर बने पुल को एक बार फिर जनसहयोग की दरकार है। वर्ष 199
जागरण संवाददाता, तरवां (आजमगढ़) : क्षेत्र के बेलहाडीह और खरिहानी के बीच डंडवा खास गांव के पास बेसो नदी पर बने पुल को एक बार फिर जनसहयोग की दरकार है। वर्ष 1998 में आवागमन में आ रही समस्या का समाधान करने की जनता ने ठानी तो ह्यूम पाइप के सहारे पुल का निर्माण करा दिया। इससे आवागमन काफी आसान हुआ और पैदल के साथ वाहन भी दौड़ने लगे। धीरे-धीरे पुल जर्जर हुआ और उसकी रेलिग क्षतिग्रस्त हो गई। पुल भी कमजोर हो चला है लेकिन प्रशासन का ध्यान इस समस्या की ओर नहीं पहुंच पा रहा। गाजीपुर जनपद को जोड़ने वाले इस पुल के जर्जर होने के बाद भी कोई दूसरा विकल्प न होने से आज भी निजी बसें इसी से होकर गुजरती हैं।
क्षेत्र के बालेश्वर सिंह, चुलबुल यादव, विजेंद्र सिंह के प्रयास व तत्कालीन जिलाधिकारी रविद्र नाथ त्रिपाठी के सहयोग से दोनों तरफ रेलिग तैयार कर अस्थाई पुल का निर्माण हुआ था। समय के साथ दोनों तरफ की रेलिग व ह्यूम पाइप क्षतिग्रस्त हो रही है। क्षेत्र के लोगों ने पीडब्लूडी सहित जिलाधिकारी को पत्र भेजकर नए पुल के निर्माण की मांग की लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई। यह मार्ग खरिहानी से वाया बेलहाडीह, टंडवा होते हुए गाजीपुर के रायपुर, बहरियाबाद व सैदपुर को जोड़ता है। प्रतिदिन सैदपुर व वाराणसी तथा आजमगढ़ और चिरैयाकोट के लिए प्राइवेट बसों का संचालन होता है। उस पार पवित्र टंडवा भगवती का स्थान होने के नाते भी काफी लोगों का आना-जाना रहता है। बालेश्वर सिंह का कहना है कि पुल के पूर्णतया बंद होने से पहल स्थाई पुल का निर्माण हो जाए तो काफी लोगों का भला हो जाएगा।