17 जान चली गई अब सुध आई सफाई अभियान की
चंद्रशेखर यादव औरैया 32 दिन 17 मौत यानी हर दूसरे दिन एक मौत ये आंकड़ा इस बात को बताने
चंद्रशेखर यादव, औरैया: 32 दिन 17 मौत, यानी हर दूसरे दिन एक मौत ये आंकड़ा इस बात को बताने के लिए पर्याप्त है कि जिले में किस तरह से बुखार, पेटदर्द, की बीमारी पैर पसार रही है। ये दावा हमारा नहीं गांव के लोगों का है, जिन्होने इस बीमारी अपनो को खोया है। जी हां हम बात कर रहे है सदर विकास खंड के पुरवा रहट ग्राम पंचायत की।
इस पंचायत में करीब 500 परिवार रहते हैं। शायद ही ऐसा कोई परिवार होगा जिसके यहां बीमारी ने दस्तक ना दी है। औरैया शहर के दो चिकित्सकों की माने तो उनके यहां इस गांव के लगभग 500 लोग इलाज करा चुके हैं। सबसे ज्यादा चिताजनक बात यह है कि यह आंकड़े किसी प्रकतिक आपदा के नहीं है बल्कि जिम्मेदार अधिकारियों की लापरवाही के कारण बने है। जिससे लोगों को जान गंवानी पड़ी है। रविवार को जागरण में नरक में जी रहे ग्रामीण, सिर पर खड़ी मौत शीर्षक से खबर प्रकाशित हुई तो अधिकारी गांव की ओर दौड़ पड़े। डीपीआरओ अष्ट प्रकाश त्रिपाठी के गांव पहुंचे सफाई अभियान शुरु कराया तो लोगों ने कहा कि काश, डीपीआरओ साहब पहले साफ-सफाई करा देते तो गांव के लोगों को जान ना गंवानी पड़ती। ग्राम प्रधान तुलाराम राजपूत ने बताया कि सफाई के लिए 30 कर्मचारी लगाए गए हैं गांव जब तक साफ नहीं हो जाता है सफाई अभियान जारी रहेगा।
ग्रामीण वीर भान सिह ने बताया कि
अगर गांव में समय रहते स्वच्छता अभियान चलाया जाता तो गांव के 17 लोगों के अपनी जान ना गंवानी पड़ती। जागरण के मुद्दा उठाने पर अगले ही दिन अधिकारियों ने डेरा डाल दिया है। हम ग्रामीण उनका आभार प्रकट करते हैं। ग्रामीण किशन दैनिक जागरण में खबर छपने के बाद सुबह से ही अधिकारी, सफाई करवाने के लिए गांव पहुंच गए। गांव में स्वच्छता अभियान शुरु हो गया है, उम्मीद है कि जल्द ही गांव के लोग बीमारी से निजात पा सकेंगे। अगर यह सब पहले हो जाता तो गांव वालों को अपनों को ना खोना पड़ता।
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ग्राम पंचायत पुरवा रहट में साफ-सफाई कराई जा रही हैं। जिला पंचायत राज अधिकारी मौके पर खुद ही मानीटरिग कर रहे हैं। सफाई कर्मियों की टीम गांव का कोना-कोना साफ करेगी। तालाब का गंदा पानी निकाला जा रहा है। गांव में कैंप लगातार लोगों को स्वच्छता के लिए जागरुक किया जाएगा।
अशोक बाबू मिश्रा, सीडीओ