अब अमेरिका की तर्ज पर पकड़े जाएंगे शातिर अपराधी Prayagraj News
आर्टीफिसियल इंटेलिजेंस विधि की सहायता लेकर पुलिस वारदात को अंजाम देने वाले शातिर अपराधियों को पकड़ेगी। अमेरिका में बदमाशों को पकड़ने में इसका प्रयोग होता है।
प्रयागराज, ताराचंद्र गुप्ता। दिनदहाड़े लूट, हत्या, छिनैती जैसी सनसनीखेज वारदात करने वाले शातिर अपराधी अब अमेरिका की तर्ज पर पकड़े जाएंगे। बेखौफ बदमाशों पर शिकंजा कसने के लिए पुलिस तकनीक का सहारा ले रही है। इसके तहत आर्टीफिसियल इंटेलिजेंस (कृतिम बुद्धिमत्ता) के जरिए अपराधियों को ट्रेस किया जाएगा। शहर में प्रमुख स्थानों पर लगे कैमरे से बदमाशों की निगरानी की जाएगी।
स्मार्ट सिटी योजना के तहत आइ ट्रिपल सी स्थापित
स्मार्ट सिटी योजना के तहत इंट्रीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर (आइ ट्रिपल सी) को स्थापित किया गया है। पूरे शहर में एक हजार से अधिक सीसीटीवी कैमरे लगाए जाने हैं, जिसमें 550 कैमरे लग चुके हैं। इन कैमरों की उपयोगिता और व्यवस्था की जिम्मेदारी आइ ट्रिपल सी के पास ही है। शहर के प्रमुख बाजार, संवेदनशील इलाके और खास स्थानों पर लगे 200 कैमरों के लिए आइ ट्रिपल सी में अलग से यूनिट होगी। इस यूनिट के कंप्यूटर में वांछित और कुख्यात अपराधियों की तस्वीर व डाटा फीड किया जाएगा।
अपराधी की पहचान पहले से फीड तस्वीर के आधार पर होगी
जब कोई अपराधी किसी कैमरे की जद में आएगा और उसकी पहचान पहले से फीड तस्वीर के आधार पर होगी तो इसकी जानकारी तुरंत पुलिस को हो जाएगी। फिर पुलिस घेरेबंदी करके उसे पकड़ लेगी और सलाखों के पीछे डाल देगी। इसके अलावा अनावश्यक घूमने वाले और संदिग्ध लोगों पर भी इन्हीं कैमरों जरिए कड़ी नजर रखी जाएगी।
अपराध और अपराधियों पर अंकुश लगाने में काफी मददगार होगी व्यवस्था
पुलिस अधिकारियों का कहना है कि आर्टीफिसियल इंटेलिजेंस तकनीक के जरिए अमेरिका जैसे देशों में अपराधियों को पकड़ा जाता है। यह व्यवस्था अब प्रयागराज में हो रही है, जो अपराध और अपराधियों पर अंकुश लगाने में काफी मददगार होगी।
क्या है आर्टीफिसियल इंटेलिजेंस
आर्टीफिसियल इंटेलिजेंस का अर्थ है एक मशीन में सोचने-समझने और निर्णय लेने की क्षमता का विकास करना। इसे कंप्यूटर साइंस का सबसे उन्नत रूप माना जाता है। यह कंप्यूटर साइंस एंड टेक्नोलॉजी से संबंधित टर्म है, जिसकी शुरुआत 1950 के दशक में हुई थी।
बोले एसपी सिटी
एसपी सिटी बृजेश श्रीवास्तव कहते हैं कि आइ ट्रिपल सी में एक अलग यूनिट बनाई जाएगी जो आर्टीफिसियल इंटेलिजेंस के तहत काम करेगी। कैमरे में वांछित अपराधी की तस्वीर दिखते ही पुलिस को अलर्ट का मैसेज भी आएगा। इससे अपराध पर अंकुश लग सकेगा।