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संत सम्मेलन की साक्षी बनेगी सरकार, विहिप के सम्मेलन में मुख्यमंत्री होंगे शामिल

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ संतों के साथ मंच साझा करेंगे। साथ ही प्रदेश सरकार के आधा दर्जन मंत्री भी सम्मेलन का हिस्सा बनेंगे।

By Ashish MishraEdited By: Published: Fri, 19 Jan 2018 11:56 AM (IST)Updated: Fri, 19 Jan 2018 12:03 PM (IST)
संत सम्मेलन की साक्षी बनेगी सरकार, विहिप के सम्मेलन में मुख्यमंत्री होंगे शामिल
संत सम्मेलन की साक्षी बनेगी सरकार, विहिप के सम्मेलन में मुख्यमंत्री होंगे शामिल

इलाहाबाद (जेएनएन)। वैसे तो तीर्थराज प्रयाग में हिंदुत्व की अलख एक पखवाड़ा से जग रही है। संतों के शिविर में सम्मेलन भी हुए। गो, गंगा व गायत्री के साथ श्रीराम जन्मभूमि में मंदिर निर्माण की मांग भी उठी, परंतु विश्व हिंदू परिषद का संत सम्मेलन सबसे अहम है, क्योंकि उसकी साक्षी प्रदेश की सरकार बनेगी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ संतों के साथ मंच साझा करेंगे। साथ ही प्रदेश सरकार के आधा दर्जन मंत्री भी सम्मेलन का हिस्सा बनेंगे।
यह सम्मेलन शुक्रवार को परेड ग्राउंड स्थित विहिप के शिविर में होगा। इसमें कर्नाटक के उड़पि में 24 से 26 नवंबर तक हुए विहिप के धर्म संसद में पारित प्रस्ताव पर मुहर लगाई जाएगी। इसमें श्रीराम जन्मभूमि अयोध्या में मंदिर निर्माण, गोरक्षा, गंगा व यमुना की निर्मलता एवं सामाजिक समरसता का मुद्दा अहम है। वहीं मठ-मंदिरों में सरकारी अधिग्रहण पर रोक लगाने, वेद-पुराण व संस्कृत के संरक्षण को लेकर सरकार से उचित कदम उठाने की मांग की जाएगी।

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सम्मेलन में जगद्गुरु स्वामी वासुदेवानंद सरस्वती, जगद्गुरु नरेंद्रानंद सरस्वती, अखाड़ा परिषद अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि, श्रीराम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष महंत नृत्य गोपाल दास, मौनी बाबा, महामंडलेश्वर संतोष दास सहित देशभर से आए हजारों संत-महात्मा शिरकत करेंगे। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, कैबिनेट मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह, डॉ. रीता बहुगुणा जोशी, नंदगोपाल गुप्त 'नंदी भी इसमें शामिल होंगे।
श्रीराम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष महंत नृत्यगोपाल दास कहते हैं कि श्रीराम मंदिर निर्माण को लेकर अब विलंब नहीं होना चाहिए। मोदी-योगी मंदिर निर्माण का मार्ग प्रशस्त करें।

विहिप के प्रदेश प्रवक्ता शरद शर्मा कहते हैं कि भारत का आधार सनातन संस्कृति है। सनातन संस्कृति का आधार हिंदुत्व है, ऐसे में केंद्र व प्रदेश सरकार को हिंदुत्व की रक्षा के लिए सार्थक कदम उठाना चाहिए। युवा धर्माचार्य प्रचार प्रमुख देवी निहारिका सरकार से शिक्षा व्यवस्था में बदलाव लाने की बात करती हैं। कहती हैं मैकाले की शिक्षा व्यवस्था ने सनातन संस्कृति को दूषित कर दिया है। मोदी व योगी सरकार हर बच्चे को वैदिक शिक्षा दिलाने की दिशा में कदम उठाए। संत सम्मेलन में यह भी मुद्दा बनेगा।  


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