प्रतियोगी छात्रा पारुल की खुदकशी का राज नहीं खुला, हास्टल में लगाई थी फांसी
जार्जटाउन के पूर्णिमा गर्ल्स हॉस्टल में फांसी पर झूलने वाली पारुल जायसवाल की मौत का राज पुलिस नहीं सुलझा सकी। उसके कमरे में पुलिस को सुसाइड नोट भी नहीं मिला।
प्रयागराज : हॉस्टल के कमरे में फांसी लगाकर जान देने वाली छात्रा पारुल जायसवाल (23) की खुदकुशी का राज फिलहाल सामने नहीं आ सका है। गुरुवार को पारुल के शव का पोस्टमार्टम हुआ। रिपोर्ट में फांसी से मौत की पुष्टि हुई। पुलिस ने पारुल के कमरे की तलाशी ली लेकिन सुसाइड नोट नहीं मिला। चित्रकूट से आए पारुल के घरवाले भी आत्महत्या की वजह नहीं बता सके। माना जा रहा था कि पारुल के मोबाइल से कुछ राज खुलेंगे लेकिन पुलिस ने मोबाइल घरवालों को सौंप दिया। पुलिस से मोबाइल का लॉक ही नहीं खुला। दोपहर बाद परिजन पारुल का शव लेकर चित्रकूट चले गए।
जार्जटाउन में पूर्णिमा गर्ल्स हॉस्टल में रह रही थी पारुल
चित्रकूट जिले के राजापुर निवासी प्रदीप जायसवाल की बेटी पारुल जायसवाल जार्जटाउन थाना क्षेत्र स्थित पूर्णिमा गल्र्स हॉस्टल में रहकर एसएससी व बैंक परीक्षाओं की तैयारी करती थी। उसके साथ कमरे में एक और छात्रा रहती थी, लेकिन बुधवार को वह नहीं थी। पारुल ने दुपट्टे का फंदा बनाकर पंखे के चुल्ले से लटककर जान दे दी। गुरुवार को पारुल के शव का पोस्टमार्टम हुआ। पोस्टमार्टम हाउस पहुंचे घरवालों ने बताया कि 23 मार्च को ही पारुल घर से प्रयागराज आई थी। ऐसी कोई बात घर पर नहीं हुई जिससे पारुल आत्महत्या करे। वह घरवालों से फोन पर बात भी करती रही। दो दिन पहले पारुल ने मां शोभा देवी से मोबाइल पर बात की थी। उसके दो छोटे भाई हैं।
बोले इंस्पेक्टर जार्जटाउन
इंस्पेक्टर जार्जटाउन सुनील सिंह के मुताबिक, घरवाले आत्महत्या की वजह नहीं बता सके। पारुल का फोन पुलिस के पास था जिसे घरवालों को दे दिया गया।