Prayagraj News: एंबुलेंस कर्मचारी की पिटाई में डॉक्टरों के खिलाफ केस दर्ज, मामले की जांच में जुटी पुलिस
एसआरएन अस्पताल में एंबुलेंस सेवा के लिए कार्यरत बुधरम के भाई ने पुलिस को दी तहरीर देकर बताया कि डॉक्टरों ने पहले चाय पीने के लिए बुधरम को बुलाया फिर जातिसूचक गाली देते हुए पिटाई कर दी। जिससे उसकी हालत गंभीर हो गई।
प्रयागराज, जागरण संवाददाता। स्वरूपरानी नेहरू अस्पताल के ट्रामा सेंटर में एंबुलेंस कर्मचारी को इस कदर पीटा गया कि उसका सिर फट गया। हालत इतनी बिगड़ी कि शहर के तीन अस्पतालों ने इलाज से मना किया तो उसे यूनाइटेड मेडिसिटी में भर्ती किया गया। इस घटना के 10 दिन बाद कोतवाली में दो डॉक्टरों समेत तीन लोगों के खिलाफ एफआइआर दर्ज हुई है। पुलिस घटनाक्रम की जांच कर रही है।
यह है पूरा मामला
कौशांबी में महेवा घाट के हिनौती गांव निवासी रज्जन प्रसाद ने कोतवाली पुलिस को बताया कि उसका भाई बुधरम कई साल से एसआरएन अस्पताल में एंबुलेंस सेवा के लिए काम कर रहा है। 16 जनवरी की रात भी वह ट्रामा सेंटर के पास एंबुलेंस में था तभी आरोप है कि ड्यूटी पर मौजूद ईएमओ (इमरजेंसी मेडिकल अफसर) डॉ. अभिषेक द्विवेदी ने उसे चाय पिलाने के बहाने बुलाया। पास आने पर डॉ. अभिषेक और संविदा चिकित्सक डॉ. सीपी पांडेय ने तीन अन्य के साथ मिलकर बुधरम पर हमला कर दिया।
बेहोश होने तक पीटते रहे हमलावर
उसे जातिसूचक गालियां देते हुए इस कदर पीटा कि सिर की हड्डी टूट गई। कान का पर्दा फट गया। कान से पानी बहने लगा। गंभीर चोटों के कारण बुधरम बेहोश हो गया। पता चला तो परिवार के लोग आए और बुधरम को एमजीएम अस्पताल ले गए। वहां तीन दिन तक उपचार के बाद डॉक्टर ने जवाब दे दिया तो बुधरम को एक के बाद एक तीन हॉस्पिटल ले जाया गया लेकिन हर जगह से लौटा दिया गया। आखिरकार बुधरम को यूनाइटेड मेडिसिटी अस्पताल ले जाया गया जहां उसे आइसीयू में भर्ती किया गया है।
क्या कहती है पुलिस
कोतवाली के कार्यवाहक थानाध्यक्ष मुदित राय ने बताया कि एससी-एसटी समेत अन्य धाराओं में ईएमओ समेत दो डॉक्टरों को नामजद करते हुए एक अज्ञात पर केस लिखा गया है। दलित उत्पीड़न का केस होने की वजह से इस मुकदमे की विवेचना एसीपी कोतवाली करेंगे।