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UP: विधायक विजय मिश्र का काम्प्लेक्स ध्वस्त करने पर रोक के आदेश को इलाहाबाद हाई कोर्ट में चुनौती

भदोही विधानसभा क्षेत्र से विधायक विजय मिश्र के प्रयागराज जिला के अल्लापुर मोहल्ला में स्थित बहुमंजिला व्यावसायिक भवन के ध्वस्तीकरण के मामले में प्रयागराज विकास प्राधिकरण इलाहाबाद हाई कोर्ट पहुंच गया है। पीडीए ने हाई कोर्ट में मंडलायुक्त प्रयागराज के आदेश को कोर्ट में चुनौती दी है।

By Umesh TiwariEdited By: Published: Mon, 02 Nov 2020 07:35 PM (IST)Updated: Mon, 02 Nov 2020 07:35 PM (IST)
UP: विधायक विजय मिश्र का काम्प्लेक्स ध्वस्त करने पर रोक के आदेश को इलाहाबाद हाई कोर्ट में चुनौती
हाई कोर्ट ने भवन स्वामी इंद्रकली देवी सहित अन्य पक्षकारों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।

प्रयागराज, जेएनएन। भदोही विधानसभा क्षेत्र से विधायक विजय मिश्र के प्रयागराज जिला के अल्लापुर मोहल्ला में स्थित बहुमंजिला व्यावसायिक भवन के ध्वस्तीकरण के मामले में प्रयागराज विकास प्राधिकरण (पीडीए) इलाहाबाद हाई कोर्ट पहुंच गया है। पीडीए ने हाई कोर्ट में मंडलायुक्त प्रयागराज के आदेश को कोर्ट में चुनौती दी है। हाई कोर्ट ने भवन स्वामी इंद्रकली देवी सहित अन्य पक्षकारों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। अब मामले में चार नवंबर को सुनवाई होगी।

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यह आदेश न्यायमूर्ति अश्वनी कुमार मिश्र ने प्रयागराज विकास प्राधिकरण की याचिका पर दिया है। पीडीए ने इंद्रकली अवैध निर्माण के ध्वस्तीकरण की नोटिस दी। इसके खिलाफ अपील पर सुनवाई करते हुए आयुक्त ने 28 अक्टूबर को प्रकरण पीडीए के पास वापस भेज दिया था। कमिश्नर न्यायालय ने संबंधित जोनल अधिकारी को याची का पक्ष सुनकर एक सप्ताह में उचित निर्णय लेने का निर्देश दिया था। इस आदेश को चुनौती दी गयी है।

पीडीए का पक्ष वरिष्ठ अधिवक्ता अनूप त्रिवेदी व अरुण कुमार मिश्र ने रखा। पीडीए का कहना है कि कमिश्नर की ओर से अपील निर्णीत करने में कई स्तर पर त्रुटियां की गई हैं। कमिश्नर ने अपने आदेश में यह कहते हुए मामला पीडीए को वापस भेज दिया था कि याची इंद्रकली आदि को ध्वस्तीकरण नोटिस के तामील संबंधित अधिनियम की धारा-43 के प्रावधानों के तहत नहीं कराया गया और न ही धारा-44 का पालन किया गया।

पीडीए ने 12 दिसंबर 2007 को ध्वस्तीकरण नोटिस नोटिस भेजा था, जिस पर 13 साल के बाद अमल शुरू किया गया। हाई कोर्ट ने याची को नियमानुसार पीडीए के नोटिस के खिलाफ कमिश्नर के समक्ष अपील और स्थगन आदेश की अर्जी दाखिल करने का निर्देश दिया था। इसके अनुपालन में कमिश्नर के समक्ष अपील दाखिल की गई थी। जिस पर सुनवाई के बाद कमिश्नर ने प्रकरण पुन: विचारण के लिए पीडीए को वापस भेज दिया।


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