वंशिका की मांग में सिंदूर भर चुका था विजय
झूंसी कांड की तफ्तीश में जुटी पुलिस को पता चला है कि विजय वंशिका की मांग में एक वर्ष पूर्व सिंदूर भर चुका था। सीडीआर से कई राज खुल सकते हैं। हालांकि वंशिका का मोबाइल नहीं खुल सका है।
इलाहाबाद : झूंसी कांड की तफ्तीश में जुटी पुलिस को एक नई जानकारी मिली है। पता चला है कि करीब एक साल पहले ही विजय ने वंशिका के मांग में सिंदूर भर दिया था। करछना स्थित कॉलेज से बीटीसी की पढ़ाई करने वाली वंशिका ने शादी के लिए नैनी की एक मंदिर को देखा था। इसके बाद वहीं पर विजय को बुलाया और फिर दोनों ने विवाह कर लिया था। शादी की फोटो भी विजय के मोबाइल में कैद थी।
छानबीन में जुटी पुलिस को यह भी पता चला है कि परिजनों को जब वंशिका के इस कदम की जानकारी हुई तो उन्होंने पूछताछ की थी। तब वंशिका ने घरवालों से झूठ बोला। लेकिन दोनों के बारे में परिजन जान चुके थे। दोनों की शादी से शायद वंशिका के परिजन नाखुश थे और फिर उन्होंने होलागढ़ निवासी अमेठी में तैनात शिक्षक से सगाई कर दी थी। अब तक की जांच में दोनों की प्रेम कहानी सामने तो आ गई है, लेकिन मौत की गुत्थी अभी भी उलझी हुई है। झूंसी पुलिस ने रविवार को वंशिका का मोबाइल जब्त कर लिया, पर उसका लॉक सोमवार को भी नहीं खुलवा सकी। अब विजय और वंशिका का नंबर मिलने के बाद दोनों की कॉल डिटेल रिपोर्ट निकलवाई जा रही है। माना जा रहा है कि रिपोर्ट आने पर कई और राज खुल सकते हैं। साथ ही यह भी पता चल जाएगा कि घटना के दिन किसने किसको पहले फोन किया था। दोनों के बीच कई बार बात हुई थी, लेकिन यह स्पष्ट नहीं है कि सबसे पहले विजय औ वंशिका में किसने फोन किया था। वहीं, लॉक खुलने पर वंशिका के मोबाइल में किस तरह की तस्वीर कैद है, यह भी पता चल जाएगा। फिलहाल इंस्पेक्टर झूंसी जितेंद्र सिंह का कहना है कि वंशिका व विजय शादी कर चुके थे। सीडीआर रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है।
झूंसी के न्याय नगर मंदिर परिसर में वंशिका और विजय की गोली लगने से मौत हुई थी। पुलिस ने तहरीर के आधार पर वंशिका की हत्या कर विजय की खुदकशी करने की रिपोर्ट दर्ज की है।
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घुमंतू, खानाबदोश गिरोह की तलाश में दबिश, एक दर्जन उठाए गए
सोरांव के बिगहियां गांव में एक परिवार के चार लोगों की हत्या के मामले में पुलिस का फोकस लूट से हट नहीं रहा है। संपत्ति विवाद सामने आने और नामजद आरोपितों के फरार हो जाने के बावजूद पुलिस अधिकारी लूट के एंगल को तरजीह दे रहे हैं। कमलेश देवी और उसकी बेटी किरण उर्फ ¨रकी के नाक, कान और गले में एक भी जेवरात नहीं पाए गए थे। पुलिस हर पहलू पर जांच आगे बढ़ा रही है। सोमवार को पुलिस टीमों ने घुमंतू जाति के एक दर्जन से अधिक लोगों को उठाकर पूछताछ की। पुलिस की टीमों ने सोमवार को प्रतापगढ़, मऊआइमा और सोरांव के बदमाशों के यहां छापामारी कर कई को उठा लिया। देर रात तक बदमाशों से पूछताछ होती रही। घुमंतू जाति, खानाबदोशों की तलाश में भी कई जगह दबिश दी गई। घटनास्थल पर जिस ढंग से सामान बिखरा मिला, उससे पुलिस का शक लुटेरों के ऊपर से हट नहीं रहा है। बदमाश घर से क्या ले गए यह बताने वाला कोई नहीं लेकिन किसी के शरीर पर एक भी जेवर का न मिलना भी संदेह पैदा कर रहा है।
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दूसरा दामाद है गायब
कमलेश देवी का दूसरा दामाद टिकरी नवाबगंज निवासी अमर उर्फ शरद पांडेय फरार है। पुलिस उस बिंदु को भी नजरअंदाज नहीं कर पा रही है। जेठ और उसका बेटा भी फरार हैं। हालांकि नामजद आरोपितों के घरवालों का कहना है कि वह डर की वजह से भागे हैं। पुलिस घरवालों पर दबाव बना रही है। एसपी गंगापार सुनील सिंह के नेतृत्व में सोमवार को भी गांव के लोगों से पूछताछ की गई। वनकेसरी गांव से चार युवकों को उठाया गया है। उनसे पूछताछ की जा रही है।
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क्या कहते हैं एसएसपी
एसएसपी नितिन तिवारी का कहना है कि संपत्ति विवाद के साथ ही लूट के बिंदु को फिलहाल खारिज नहीं किया जा सकता। हर पहलू पर जांच आगे बढ़ाई जा रही है। तीन टीमों को अलग अलग पहले पर पूछताछ के लिए लगाया गया है।
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हड़ताल पर रहे वकील
जिला अधिवक्ता संघ के अध्यक्ष उमाशंकर तिवारी, मंत्री बऊ मिश्र, मनोज सिंह लोकेश के द्वारा की गई आमसभा में अधिवक्ताओं ने बाल सखा मिश्र के बेटे, बहू समेत चार लोगों की पर दुख जताते हुए हड़ताल की घोषणा की गई। वकीलों ने एसएसपी से मुलाकात कर गिरफ्तारी की मांग की। अधिवक्ता जितेंद्र कुमार श्रीवास्तव के निधन पर यंग लायर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष अमिताभ दुबे, अनिल कुमार तिवारी, राकेश दुबे, रेवती रमण, कुश कुमार पांडेय आदि ने शोक सभा की।