बेगमबाजार आरओबी की गेंद दिल्ली दरबार के पाले में
बेगमबाजार में भागवतपुर रेलवे क्रासिंग पर निर्माणाधीन रेलवे ओवर ब्रिज (आरओबी) का मसला अब दिल्ली दरबार के पाले में पहुंच गया है। केंद्र सरकार के रुख पर इसका भविष्य तय होगा। उम्मीद है कि इसी सप्ताह दिल्ली से उच्चस्तरीय टीम आएगी। इसमें विभिन्न मंत्रालयों के अधिकारी होंगे। वायुसेना ने सुरक्षा कारणों का हवाला देते हुए आरओबी निर्माण पर आपत्ति जताई थी, इसके बाद कार्य रोक दिया गया है। जानकार सूत्रों का कहना है कि उच्चस्तरीय टीम में रक्षा , नागरिक उड्डयन, रेलवे के अफसरों संग प्रदेश सरकार के अधिकारी शामिल रहेंगे।
जागरण संवाददाता, इलाहाबाद : बेगमबाजार में भागवतपुर रेलवे क्रासिंग पर निर्माणाधीन रेलवे ओवर ब्रिज (आरओबी) का मसला अब दिल्ली दरबार के पाले में पहुंच गया है। केंद्र सरकार के रुख पर इसका भविष्य तय होगा। उम्मीद है कि इसी सप्ताह दिल्ली से उच्चस्तरीय टीम आएगी। इसमें विभिन्न मंत्रालयों के अधिकारी होंगे। वायुसेना ने सुरक्षा कारणों का हवाला देते हुए आरओबी निर्माण पर आपत्ति जताई थी, इसके बाद कार्य रोक दिया गया है। जानकार सूत्रों का कहना है कि उच्चस्तरीय टीम में रक्षा , नागरिक उड्डयन, रेलवे के अफसरों संग प्रदेश सरकार के अधिकारी शामिल रहेंगे। इस टीम की रिपोर्ट के बाद ही निर्णय होगा कि आरओबी बनाया जाएगा अथवा नहीं। इस बीच मंगलवार को कमिश्नर ने इस मसले पर बैठक बुलाई है।
बमरौली एयरपोर्ट पर अभी तक बमरौली रेलवे स्टेशन की तरफ से यात्री प्रवेश करते हैं। यात्रियों की सुविधा के लिए झलवा की तरफ नया सिविल एनक्लेव बनाया जा रहा है, वहां भी सभी सुविधाएं रहेंगी। वाहनों के सुगम आवागमन के लिए बेगम बाजार में नया आरओबी बनाया जा रहा था। इसका काम 29 अगस्त से रोक दिया गया है। वायु सेना का तर्क है कि आरओबी से एयरपोर्ट की सुरक्षा को खतरा है। साथ ही विमानों की उड़ान में दिक्कत होगी। वायु सेना ने अपनी आपत्ति से रेलवे और प्रशासनिक अफसरों को अवगत कराया है। मामला चूंकि कुंभ से भी जुड़ा है, इसलिए अब दिल्ली से टीम आएगी। वह वायुसेना की इस आपत्ति की जांच करेगी कि आरओबी से एयरपोर्ट की सुरक्षा में कितना खतरा है? क्या हवाई पट्टी का विस्तार संभव है? कुंभ से पहले क्या सारे काम पूरे हो जाएंगे?
हवाई पट्टी का विस्तार संभव नहीं
निर्माण में रोड़ा हटाने के लिए बमरौली हवाई पट्टी के विस्तार का विकल्प भी उठा है। पट्टी के विस्तार के लिए जमीन की जरूरत होगी। इसके लिए सबसे पहले सर्वे कराया जाएगा। जिसके लिए विशेषज्ञों की टीम दिल्ली से आएगी। उसके बाद कई निर्माण कार्य होंगे। अब जबकि कुंभ को शुरू होने में तीन महीने का समय रह गया है। ऐसे में हवाई पट्टी का विस्तार संभव नहीं लगता। अधिकारी चाहते हैं कि किसी तरह यह मामला निपट जाए। कुछ ऐसा रास्ता निकले जिससे हवाई अड्डे की सुरक्षा पर भी कोई आंच न आए। इसी कड़ी में मंगलवार को मंडलायुक्त डॉ. आशीष गोयल की अध्यक्षता में उनके कार्यालय में बैठक होगी। इसमें प्रशासन, वायु सेना, रेलवे, राज्य सेतु निगम के अधिकारी मौजूद रहेंगे।
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