आपकी सुरक्षा के लिए बना है मोटर व्हीकल एक्ट और ट्रैफिक नियम
वाहन चलाते समय नियम का पालन करना बेहद जरूरी होता है, ताकि आप खुद के साथ दूसरे की जान भी सुरक्षित कर सकें।
प्रयागराज : सरायइनायत इलाके में बाइक और ट्रक में टक्कर हो गई। बाइक पर सवार दो साथी की मौत हो गई, जबकि तीसरा जख्मी हो गया। तीनों साथी एक ही बाइक से दशहरा का मेला देखने जा रहे थे। बाइक की रफ्तार ज्यादा थी और जब ट्रक सामने आया तो बैलेंस बिगड़ गया। चालक के अलावा बैठने वालों के सिर पर भी हेलमेट नहीं था। मौके पर पहुंची पुलिस और स्थानीय लोगों का यही कहना था कि ट्रिपलिंग खतरनाक होती है। इसी कारण हादसा हुआ।
यह तो महज एक उदाहरण है। ऐसे और भी कई हादसे हुए हैं, जिसके पीछे नियम का पालन न करना अहम कारण रहा है। मोटर व्हीकल एक्ट और ट्रैफिक नियम लोगों की सुरक्षा के लिए ही बना है, लेकिन इससे अंजान रहने या पालन न करने से लोगों की जान चली जाती है। ऐसे में वाहन चलाते समय नियम का पालन करना बेहद जरूरी होता है, ताकि आप खुद के साथ दूसरे की जान भी सुरक्षित कर सकें। लोगों को जागरूक करने और पालन करने वालों के विरुद्ध पुलिस कार्रवाई की भी करती है, लेकिन इसका व्यापक असर नहीं दिख रहा है। टेस्ट में पास होने पर ही मिले लाइसेंस :
ड्राइविंग लाइसेंस के लिए युवक या युवती की उम्र 18 साल निर्धारित की गई है। आवेदन करने वालों का अब ऑनलाइन टेस्ट होता है, लेकिन वाहन चलाकर परीक्षा देने की व्यवस्था ठीक नहीं है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि टेस्ट ड्राइव की परीक्षा पास होने वालों को ही अगर लाइसेंस दिया जाए तो हादसों में कमी आ सकती है। ड्राइविंग लाइसेंस की व्यवस्था को और भी बेहतर बनाया जाना चाहिए। पूरी नींद लेने के बाद ही वाहन चलाएं :
करीब दो साल पहले नवाबगंज में हाइवे पर सड़क हादसे में एक साथ सात लोगों की मौत हो गई थी। कार में सवार एक व्यक्ति घायल हो गया था, जिसने पुलिस को बताया कि चालक को रास्ते में नींद आ रही थी। वाहन चलाते वक्त नींद या झपकी आना बेहद खतरनाक होता है। लिहाजा कहीं भी जाने से पहले पूरी नींद लेकर ही वाहन चलाएं। चाहे दोपहिया हो, कार या बड़े वाहन ही क्यों न हो। जिंदगी नहीं रफ्तार पर लगाएं ब्रेक :
युवाओं में आजकल हाईस्पीड में चलने का चलन बढ़ा है, जो काफी खतरनाक है। आमतौर लोग मानते हैं कि तेज चलने से वह अपने गंतव्य तक जल्द पहुंच जाएंगे, लेकिन ऐसा जरूरी नहीं होता। छोटी सी गलती आपके जीवन पर भारी पड़ सकती हैं। ऐसे में जिंदगी नहीं बल्कि रफ्तार पर ब्रेक लगाने की जरूरत है। नियम का पालन करने से हादसे बहुत ही कम होते हैं, लेकिन कुछ लोग इसे नजरअंदाज भी करते हैं। समय-समय पर जागरूकता अभियान चलाया जाता है और अवहेलना करने वालों के विरुद्ध कार्रवाई भी की जाती है।
- कुलदीप सिंह, एसपी ट्रैफिक