UP Board Exam 2020 : प्रवेशपत्र में कई गड़बड़ियां, बदल दिया परीक्षार्थियों का जेंडर और विषय
UP Board Exam 2020 हाईस्कूल व इंटर की परीक्षा शुरू होने से एक पखवारे पहले प्रवेशपत्र की गड़बड़ियां सामने आ गई हैं।
प्रयागराज, जेएनएन। UP Board Exam 2020 : यूपी बोर्ड की हाईस्कूल व इंटर की परीक्षा में शामिल होने वाले परीक्षार्थियों का जेंडर कोड बदल गया है। यानी कागजों में छात्र को छात्रा और बालिका को बालक बना दिया गया। वहीं बड़ी संख्या में परीक्षार्थियों के विषय भी गलत दर्ज हो गए हैं। 18 फरवरी से होने वाली परीक्षा का प्रवेशपत्र जब परीक्षार्थियों व उनके अभिभावकों के हाथों में पहुंचा तो उनके होश उड़ गए। वे इसे दुरुस्त कराने के लिए प्रयासरत हैं। बोर्ड सचिव ने सभी जिला विद्यालय निरीक्षकों को आदेश दिया है कि ऐसी गड़बड़ियों को दुरुस्त करके सही विषय व कोड अंकित कराएं।
माध्यमिक शिक्षा परिषद (यूपी बोर्ड) ने इस बार छात्र-छात्राओं के विवरण की गलतियां ठीक करने की मुहिम शुरू की है। इसके लिए कई बार वेबसाइट खोली गई, जिला विद्यालय निरीक्षकों से टीमें गठित कराकर कालेजों का औचक निरीक्षण कराया गया। इसमें अभिभावकों व परीक्षार्थियों तक को सीधे तौर पर जोड़ा गया है इसके बाद भी गड़बड़ियां थमने का नाम नहीं ले रही हैं।
बोर्ड परीक्षा शुरू होने से एक पखवारे पहले प्रवेशपत्र की गड़बड़ियां सामने आ गई हैं। कई जिलों में प्रवेश पत्र पर परीक्षार्थियों का जेंडर कोड गलत दर्ज हो गया है। इससे उन्हें गलत परीक्षा केंद्र आवंटित हो गया है। ज्ञात हो कि छात्र व छात्राओं का परीक्षा केंद्र अलग-अलग तय हुआ है। इसके अलावा प्रवेशपत्र विषय गलत लिखे होने से परीक्षा की तारीखें भी बदल गई हैं।
जिला विद्यालय निरीक्षकों व प्रधानाचार्यों तक ऐसे प्रकरण पहुंचने पर उन्होंने बोर्ड को सूचित किया है। बोर्ड सचिव ने सभी जिला विद्यालय निरीक्षकों को निर्देश दिया है कि जिन परीक्षार्थियों के प्रवेशपत्र पर सेक्स कोड गलत दर्ज है उसका संशोधन प्रवेशपत्र पर अनिवार्य रूप से करा दें, ताकि वे सही परीक्षा केंद्र पर इम्तिहान दे सकें। यूपी बोर्ड की सचिव नीना श्रीवास्तव ने कहा कि हाईस्कूल व इंटर की परीक्षा में सम्मिलित कराने के लिए विद्यालय की ओर से ऑनलाइन विवरण दिया जाता है, उसी के आधार पर प्रवेशपत्र मुद्रित कराए गए हैं। ऐसी गलतियां प्रधानाचार्यों की लापरवाही है।
डीआइओएस से अनुमति लेकर करें संशोधन
प्रधानाचार्यों को डीआइओएस से अनुमति लेकर प्रवेशपत्र पर सही परीक्षा केंद्र, सेक्स कोड व विषय अंकित करके प्रति हस्ताक्षरित करना होगा। इसकी सूचना संबंधित केंद्र व्यवस्थापक को भी देनी होगी, ताकि प्रश्नपत्र आदि उपलब्ध हो सके। कालेजों को संशोधनों की सूचना क्षेत्रीय कार्यालयों में भेजनी होगी।
प्रधानाचार्यों पर होगी सख्त कार्रवाई
सचिव ने सभी डीआइओएस को यह भी निर्देश दिया है कि जिन प्रधानाचार्यों ने संशोधन किए हैं, उनसे स्पष्टीकरण लें। उनके विरुद्ध की जाने वाली कार्रवाई का प्रस्ताव भी क्षेत्रीय कार्यालय को प्रेषित किया जाए, ताकि भविष्य में ऐसी गलतियां न हों सके।