प्रयागराज में रेल कर्मचारी की मौत के मामले में बीवी समेत चार लोगों पर हत्या का केस
आरोप है कि परवीन ने मायके वालों के साथ मिलकर निजामुद्दीन को खाने में जहर दे दिया जिससे उसकी मौत हो गई। पीडि़ता का यह भी आरोप है कि उसने थाने से लेकर पुलिस अधिकारियों से शिकायत की लेकिन रिपोर्ट दर्ज नहीं हुई। इसके बाद उसने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया।
प्रयागराज, जागरण संवाददाता। रेल कर्मचारी निजामुद्दीन की मौत के मामले में अब उसकी बीवी परवीन बानो, उसके पिता मोहम्मद इस्माइल, मां राबिया व अल्तमस के खिलाफ हत्या का मुकदमा कायम हुआ है। कोर्ट के आदेश पर सिविल लाइंस थाने की पुलिस ने हत्या और साक्ष्य छिपाने के आरोप में रिपोर्ट लिखकर जांच शुरू कर दी है। एफआइआर निजामुद्दीन की बहन शकीला बानो की तहरीर पर लिखी गई है।
पांच माह पहले हुई थी निजामुद्दीन की मौत
निजामुद्दीन रेलवे में कर्मचारी था और सिविल लाइंस स्थित बलईपुर रेलवे कालोनी में रहता था। करीब 15 साल पहले उसका निकाह मीरजापुर के चुनार थाना क्षेत्र स्थित गोला बाजार गांव निवासी परवीन बानो के साथ हुआ था। हालांकि, उनकी कोई संतान नहीं थी। शकीला का आरोप है कि संतान नहीं होने के कारण परवीन तनाव में रहती थी और ज्यादा समय अपने मायके में गुजारती थी। जबकि उसके बहन का लड़का अल्तमस कालोनी में निजामुद्दीन से मिलने के लिए आता-जाता रहता था। परवीन चाहती थी कि उसका शौहर फंड, बोनस में अल्तमस को नामिनी बना दे, मगर उसके बार-बार कहने पर भी निजामुद्दीन ने ऐसा नहीं किया। मार्च 2021 में वह अपने मायके गई और फिर साजिश के तहत रेलवे कालोनी वापस लौटी।
धोखे से जहर खिलाकर मार डाला
आरोप है कि यहां आकर परवीन ने मायके वालों के साथ मिलकर निजामुद्दीन को खाने में जहर दे दिया, जिससे उसकी मौत हो गई। पीडि़ता का यह भी आरोप है कि उसने थाने से लेकर पुलिस अधिकारियों से शिकायत की, लेकिन रिपोर्ट दर्ज नहीं हुई। इसके बाद उसने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया। अब अदालत के आदेश पुलिस ने परवीन और उसके माता-पिता व अन्य के खिलाफ नामजद मुकदमा लिखा गया है। इंस्पेक्टर सिविल लाइंस रवींद्र प्रताप सिंह का कहना है कि निजामुद्दीन की मौत का कारण पोस्टमार्टम रिपोर्ट में साफ नहीं हो सका था। विसरा रिपोर्ट आने पर आगे की कार्रवाई की जाएगी।