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Magh Mela-2020 : बहुत काम के हैं 'हैंगर पंडाल', तेज हवा के साथ बारिश और दलदल का नहीं होगा असर Prayagraj News

मौसम की मार से बचने को हैंगर पंडाल बहुत कारगर होगा। दलदली भूमि तेज हवा और बारिश को यह पंडाल व टेंट रोकेगा। ज्यादातर बड़े संत भी इसी पंडाल को लगवा रहे हैं।

By Brijesh SrivastavaEdited By: Published: Mon, 06 Jan 2020 09:53 AM (IST)Updated: Mon, 06 Jan 2020 01:48 PM (IST)
Magh Mela-2020 : बहुत काम के हैं 'हैंगर पंडाल', तेज हवा के साथ बारिश और दलदल का नहीं होगा असर Prayagraj News
Magh Mela-2020 : बहुत काम के हैं 'हैंगर पंडाल', तेज हवा के साथ बारिश और दलदल का नहीं होगा असर Prayagraj News

प्रयागराज, जेएनएन। माघ मेला-2020 की शुरुआत में अब चंद रोज ही बचे हैं। साधु-संतों के साथ ही आम श्रद्घालुओं से मेला गुलजार होने लगा है। मेला क्षेत्र में बनाए गए पीपा पुलों पर आवाजाही भी बढ़ गई है। वहीं दूसरी ओर माघ मेला में इस बार दलदल और कटान ने बड़ी समस्या पैदा कर दी है। इससे निपटने के लिए मेला प्रशासन ने दलदल ट्रीटमेंट कराया मगर कई स्थानों पर अब भी दलदल की स्थिति है। अब टेंटेज कंपनियां इससे निपटने के लिए 'हैंगर पंडाल' लगा रही हैैं। मौसम की मार से बचने के लिए मेले में कई बड़े संत भी हैैंगर टेंट ही लगवा रहे हैैं। यह टेंट बारिश से भी बचाएगा।

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दलदल वाले स्थानों पर जिन्हें जमीन मिली है, उन्हें व्यवस्था में दिक्कत हो रही

माघ मेलेे में दलदल वाले स्थानों पर जिन्हें जमीन मिली है, उन्हें टेंट समेत अन्य व्यवस्था करने में काफी दिक्कत हो रही है। ऐसे में बड़ी संख्या में संत और संस्थाएं हैैंगर पंडाल को प्राथमिकता दे रही हैैं। झूंसी स्थित सेक्टर तीन, चार और पांच में इस तरह के टेंट और पंडाल लगाए जा रहे हैैं। इसके लगाने में समय भी कम लग रहा है। लोहे के एंगलों पर बने 'हैंगर पंडाल' और टेंट को क्रेन से लगाया जाता है, जिससे समय की बचत होती है।

यह है 'हैंगर पंडाल' की विशेषता

दरअसल, दलदली जमीन जहां भी है वहां बारिश होने पर दलदल और बढऩे की आशंका है, इसीलिए इस तरह के टेंट और मैटिंग लगाए जा रहे हैैं कि मेले के दौरान यदि बारिश हो भी जाए तो उससे दिक्कत न हो। इसके अलावा आंधी और तेज हवा का इन हैैंगर पंडालों पर कोई असर नहीं पड़ेगा।


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