अलीगढ़, जेएनएन। पीएम
स्वनिधि
योजना के तहत स्ट्रीट वेंडर्स को 10 हजार रुपये तक के ऋण पर किसी गारंटी की आवश्यकता नहीं है। आसान किश्तों पर ऋण चुकाया जा सकता है। गुरुवार को
कलक्ट्रेट
में आयोजित बैठक में डीएम चंद्रभूषण सिंह ने योजना के शत प्रतिशत
क्रियांवयन
के आदेश दिए।
डीएम ने कहा कि रेहड़ी-पटरी लगाने वाले लोगों को ज्यादा दिक्कत का सामना करना
पड़
रहा है। कोरोना काल में इनकी आजीविका पर सबसे
ज्यादा
मार
पड़ी
है। योजना का मकसद रेहड़ी-पटरी और छोटी दुकान चलाने वालों को सस्ता कर्ज देना है। इस पर
ब्याज
की दर कम होगी और किसी गारंटी की जरूरत भी नहीं है। आवेदन से पहले यह सुनिश्चित कर लिया जाए कि आधार कार्ड मोबाइल नंबर से लिंक्ड हो। जिन लोगों के नहीं हैं, उनके लिए
बीएसए
विभाग की टीम नगर निगम में कैंप लगाएगी। एडीएम सिटी नगर व अपर एडीएम प्रशासन
माॅनिटरिंग
करेंगे। एलडीएम को निर्देशित किया कि वह बैंकों से समन्वय स्थापित कर लाभार्थियों को ऋण उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। नगर आयुक्त सत्यप्रकाश पटेल ने बताया कि योजना में 56492 पथ विक्रेताओं को पंजीकृत करने का लक्ष्य निर्धारित किया है। सात प्रतिशत वार्षिक ब्याज दर पर 10 हजार रुपये ऋण दिया जाएगा। ऋण वापसी एक वर्ष में 12 मासिक किश्तों में करनी होगी। समय से पूर्व ऋण वापसी करने पर सात प्रतिशत की दर से ब्याज सब्सिडी दी जाएगी।
डिजीटल
लेनदेन पर 50-100
रूपये
मासिक तक प्रोत्साहन स्वरूप
कैशबैक
प्रदान किया जाएगा।
प्रतिबंधित मछली
बिक्रेताओं
पर कार्रवाई
डीएम के निर्देश पर गुरुवार को प्रतिबंधित मछलियां बेचने वालों पर कार्रवाई की गई। 598 किलो थाई
मांगुर
मछलियां नष्ट कराई गईं। मत्स्य विभाग व पुलिस प्रशासन ने जिलेभर में कार्रवाई की। विशेषकर थाई
मांगुर
के
बिक्रय
और भंडारण के खिलाफ जबरदस्त छापामारी हुई। रसलगंज मछली बाजार में मछली कारोबारी कय्यूम, असलम निवासी मछली वाली गली, सगीर, आबिद, सादिक, अनीस, राशिद निवासी रसलगंज को प्रतिबंधित प्रजाति की थाई
मांगुर
मछली का भंडारण और
बिक्रय
करते हुए पाया गया। मौके पर लगभग 598 किलो मछली नष्ट कर
बिक्रेताओं
के विरुद्ध धारा 270 के तहत कार्रवाई की जा रही है।