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दवा खत्म हो गई, अब ये बहाना नहीं चलेगा, ये है सरकार की रणनीतिAligarh News

सरकारी अस्पतालों से मरीजों को अब बिना दवा के नहीं लौटना पड़ेगा। डाक्टर मरीज को बाहर की दवा का पर्चा भी नहीं थमा सकेंगे। दवा खत्म हो गई अब ये बहाना भी नहीं चलेगा। दरअसल सरकार ऐसी व्यवस्था करने जा रही है।

By Sandeep Kumar SaxenaEdited By: Published: Wed, 13 Oct 2021 11:28 AM (IST)Updated: Wed, 13 Oct 2021 11:28 AM (IST)
दवा खत्म हो गई, अब ये बहाना नहीं चलेगा, ये है सरकार की रणनीतिAligarh News
अलीगढ़ समेत प्रदेश के समस्त जनपदों में ड्रग वेयर हाउस का निर्माण होगा।

अलीगढ़, जागरण संवाददाता। सरकारी अस्पतालों से मरीजों को अब बिना दवा के नहीं लौटना पड़ेगा। डाक्टर मरीज को बाहर की दवा का पर्चा भी नहीं थमा सकेंगे। दवा खत्म हो गई, अब ये बहाना भी नहीं चलेगा। दरअसल, सरकार ऐसी व्यवस्था करने जा रही है, जिसमें कम से कम तीन माह का स्टाक अस्पतालों में रहेगा। इसके लिए राजस्थानी माडल को अपनाते हुए अलीगढ़ समेत प्रदेश के समस्त जनपदों में ड्रग वेयर हाउस का निर्माण होगा। कार्यदायी संस्था उत्तर प्रदेश प्रोजेक्ट्स कारपोरेशन लिमिटेड (यूपीपीसीएल) नौ करोड़ की लागत से इसका काम पूरा करेगी।

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ये है वर्तमान व्यवस्था

वर्तमान में जिला स्तरीय अस्पतालों व सीएमअो के अधीन सीएमएसडी स्टोर को प्रदेशीय ड्रग वेयर हाउस (लखनऊ) से दवा की  आपूर्ति करती है। सीएमएसडी स्टोर से सभी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों, ट्रामा सेंटर व अन्य स्वास्थ्य इकाइयों को दवा दी जाती है। कई बार अचानक कुछ दवा अचाकन खत्म हो जाती हैं, या शार्टेज होने पर मरीजों को समस्या होने लगती है। दवा खत्म होते ही बाहर से दवा लिखने के आदि डाक्टरों को और बहाना मिल जाता है। अस्पतालों में रोजाना हर चौथे-पांचवें मरीज के हाथ में बाहर की दवा का पर्चा मिल जाएगा। अस्पतालों के सामने खुले मेडिकल स्टोर पर ज्यादातर मरीज सरकारी अस्पताल के ही होते हैं। यह समस्या हर जगह है।

नई व्यवस्था से खत्म होगी समस्या

करीब दो साल पहले प्रदेश सरकार ने एसीएमअो स्तर के साथ अफसरों की टीम राजस्थाना भेजी। इस टीम में अलीगढ़ से डा. अनुपम भास्कर शामिल रहे। टीम ने देखा कि वहां हर जिले में एक ड्रग वेयर हाउस की स्थापना की गई है। यहीं से सीएचसी-पीएचसी और जिला स्तरीय अस्पतालों को दवा भेजी जाती है। वहां ईडीएल(जरूरी दवा सूची) में 238 दवाएं, 22 आपातकालीन दवा व दर्जन भर कम इस्तेमाल होनी वाली (हार्ट अटैक, कैंसर आदि) मगर, जरूरी दवाएं शामिल हैं। वहां तीन माह का रिजर्व स्टाक रहता है।

जनपद की स्थिति

जनपद स्तरीय अस्पताल-1

ट्रामा सेंटर-1

सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र-16

प्राथमिक स्वास्थ केंद्र-34

शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र-16

.जवां में पांच हजार वर्ग मीटर जमीन पर ड्रग वेयर हाउस के लिए स्वीकृति मिल गई है। कार्यदायी संस्था भी नामित कर दी है, जिसनें सर्वे कर लिया। जनपद में ड्रग वेयर हाउस होने से दवा की किल्लत खत्म हो जाएगी। मरीजों को काफी सहूलियत मिलेगी।

- डा. आनंद उपाध्याय, सीएमओ


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