महंगाई में फंसकर गैस सब्सिडी 397 रुपये से घटकर 15 रुपये रह गई Aligarh news
महंगाई से चौतरफा घिरे आमजन पर सरकारी सुविधाओं पर भी राहत नहीं है। दो साल पहले तक रसोई गैस प्रति सिलेंडर पर मिलने वाली सब्सिडी 397 रुपये से कम होकर मध्य जुलाई तक 15.14 पैसा प्रति सिलेंडर रह गई है।सबसे ज्यादा असर उज्जवला गैस के उपभोक्ताओं पर पड़ रहा है।
मनोज जादौन, अलीगढ़ । महंगाई से चौतरफा घिरे आमजन पर सरकारी सुविधाओं पर भी राहत नहीं है। दो साल पहले तक रसोई गैस प्रति सिलेंडर पर मिलने वाली सब्सिडी 397 रुपये से कम होकर मध्य जुलाई तक 15.14 पैसा प्रति सिलेंडर रह गई है। इसका सबसे ज्यादा असर उज्जवला गैस के उपभोक्ताओं पर पड़ रहा है। अधिकांश लोग सिलेंडर ही नहीं भरवा रहे। रसोई गैस सिलेंडर की वर्तमान में 853 रुपये रिकार्ड कीमत है।
मोदी सरकार के उदय के बाद घटी सब्सिडी
रसोई गैस की सब्सिडी अधिकतम 397 रुपये तक मिली है। इस सब्सिडी का लाभ मोदी सरकार के पार्ट टू के पहले यानि वित्तीय वर्ष 2018-19 में थे। जब मनमोहन सरकार थी यानि वित्तीय वर्ष 2014 में रसोई गैस के सिलेंडर पर 305 रुपये प्रति सिलेंडर सब्सिडी थी। मोदी सरकार के उदय के बाद सब्सिडी घटने लगी। वित्तीय वर्ष 2015-16 में 220 रुपये 68 पैसा प्रतिसिलिंडर सब्सिडी हो गया। इसके बाद अगले साल वित्तीय वर्ष 2016-17 में यह सब्सिडी 147 रुपये प्रति सिलेंडर हो गई। जैसे ही केंद्र सरकार चुनावी मोड में आई तो सब्सिडी में उछाल आने लगा। वित्तीय वर्ष 2018-19 में यह 397 रुपये प्रति सिलेंडर हो गई। वित्तीय वर्ष 2020-19 में अप्रैल तक 178 रुपये सब्सिडी हो गई। यह जुलाई तक 15 रुपये 14 पैसा रह गईं।
इनका कहना है
रसोई गैस की सब्सिडी लगातार घटती जा रही है। उज्जवला गैस के उपभोक्ता सबसे ज्यादा प्रभावित हो रहे हैं। वे अपना सिलेंडर नहीं भरवा रहे हैं। पिछले लाकडाउन के दौरान जब सरकार ने इनके खाते में पैसा डाला था, उसके बावजूद भी इन्होंने गैस नहीं ली थी। अब सब्सिडी 15.14 पैसा प्रति सिलेंडर मिल रही है।
- विक्रमादित्य सिंह, एलपीजी डिस्ट्रीब्यूटर्स प्रतिनिधि
एक ओर सरकार उज्जवाल गैस के मुफ्त कनेक्शन व सिलेंडर दे रही है, वहीं गैस की सब्सिडी घटाकर 15 रुपये कर दी। इससे सरकार का गरीबों के प्रति दोहरा चरित्र उजागर हो रहा है। महामारी से पस्त गरीब गैस का सिलेंडर कैसे भरवाए। सरकार को जबाव देना चाहिए।
- सीमा सिंह, नगला कलार
महामारी से घर के मुखिया का रोजगार चला गया। दो जून की रोटी जुटाने के लिए महनत करनी पड़ रही है। जब पहले की सरकारों ने सब्सिडी दी थी, तो इस सरकार को सब्सिडी खत्क करने का अधिकार नहीं था। ये अमीरों की जेब भरने वाली सरकार है।
- पुष्पा देवी, बरौला बाईपास
सरकार रसोई गैस की सब्सिडी समाप्त न करे। पिछले पौने दो साल से लोग बहुत परेशान हैं। सरकार मदद करने की जगह सब्सिडी समाप्त कर रही है। यह आम उपभोक्ता के साथ सरासर धोखा है।
- ह्देश कुमारी, डोरी नगर