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CAA : एएमयू में तिरंगा मार्च, मोदी के खिलाफ नारे, AMU कुलपति के खिलाफ भी नारेबाजी Aligarh news

जेएनयू में हुए बवाल व नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के खिलाफ एएमयू में सोमवार को छात्रों ने तिरंगा मार्च निकाला। बड़ी संख्या में शामिल छात्र-छात्राओं ने केंद्र सरकार को निशाने पर रख

By Sandeep SaxenaEdited By: Published: Tue, 07 Jan 2020 10:10 AM (IST)Updated: Tue, 07 Jan 2020 02:59 PM (IST)
CAA : एएमयू में तिरंगा मार्च, मोदी के खिलाफ नारे, AMU कुलपति के खिलाफ भी नारेबाजी Aligarh news
CAA : एएमयू में तिरंगा मार्च, मोदी के खिलाफ नारे, AMU कुलपति के खिलाफ भी नारेबाजी Aligarh news

अलीगढ़ [जेएनएन]। जेएनयू में हुए बवाल व नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के खिलाफ एएमयू में सोमवार को छात्रों ने तिरंगा मार्च निकाला। बड़ी संख्या में शामिल छात्र-छात्राओं ने केंद्र सरकार को निशाने पर रखा। भाजपा, आरएसएस, एबीवीपी, कुलपति के साथ नरेंद्र मोदी के खिलाफ नारे लगाए। 72 घंटे में कुलपति से यूनिवर्सिटी खोलने की मांग भी की। कैंपस खोलने के संबंध में राष्ट्रपति को संबोधित ज्ञापन भी एसएसपी आकाश कुलहरि को दिया।

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जेएनयू घटना की निंदा

मासकॉम डिपार्टमेंट से छात्रों ने दोपहर तीन बजे के करीब तिरंगा लेकर मार्च निकाला। नारेबाजी करते हुए बाबे सैयद पहुंचे। गेट से पहले ही कतारबद्ध खड़े सुरक्षा बलों ने छात्र-छात्राओं को आगे नहीं बढऩे दिया। यहां से कुछ दूरी पर प्रॉक्टोरियल टीम भी शिक्षकों के साथ खड़ी थी, ताकि छात्र बाहर न जाएं। छात्रों ने बाबे सैयद से पहले ही सभा की, जिसमें जेएनयू की घटना की निंदा करते हुए मोदी सरकार को जिम्मेदार ठहराया। कहा, बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ का नारा दिया जाता है, लेकिन जेएनयू में छात्रा का सिर फाड़ा जाता है। जब तक हम जिंदा हैं, संविधान का कत्ल नहीं होने दिया जाएगा।

 'फिर हिंदुस्तान की शक्ल बदल देंगे'

कांग्रेस से जुड़े पूर्व छात्र नेता माजिन जैदी ने कहा कि हमने अपना तरीका बदल दिया तो हिंदुस्तान की शक्ल बदल कर रख देंगे। अब हम और नहीं सहेंगे। मोदी सरकार की उल्टी गिनती शुरू हो गई है। छात्र सड़क पर उतर आए हैं। इस कानून को कतई स्वीकार नहीं किया जाएगा। कुलपति को छात्रों से इतना ही डर है तो अपने घर चले जाएं।

यूनिवर्सिटी खोलने की मांग

छात्रों की ओर से बाबे सैयद के अंदर एसएसपी व एडीएम सिटी राकेश मालपाणि को राष्ट्रपति को संबोधित ज्ञापन दिया गया। इसमें कहा गया कि हम प्रशासन से विवि को एक सप्ताह में खुलवाने की मांग करते हैं। जेएनयू में हुए बवाल के आरोपित एबीवीपी के लोगों को सख्त सजा दी जाए। सीएए व एनआरसी का विरोध कर रहे छात्रों को प्रशासन की ओर से कारण बताओ नोटिस दिए जा रहे हैं। उन्हें वापस लिया जाए। सीएए संविधान के  मौलिक अधिकारों का उल्लंघन करता है। विशेषकर मुस्लिम समुदाय का शोषण करता है। इसलिए कानून को वापस लिया जाए।

सड़क पर बना दिया गांधी का चित्र

अलीगढ़ में रिश्तेदार के यहां घूमने आई जामिया मिल्लिया इस्लामिया की छात्रा आइशा भी प्रदर्शन में शामिल हुई। आयशा ने बाबे सैयद की सड़क पर गांधीजी का चॉक से चित्र बना दिया। संदेश दिया सेव इंडियन का। प्रॉक्टोरियल टीम के सामने ही आयशा ने ये चित्रकारी की। जमीन पर गांधी जी का चित्र बनाने पर कुछ छात्रों में सुगबुगाहट हुई। चर्चा हुई कि कोई पैर न रख दे, यह ठीक नहीं होगा। इसके बाद उस एरिया को बैरिकेडिंग से कवर किया गया।

 इस्तीफा दें कुलपति व रजिस्ट्रार : आरडीए

जेएनयू की घटना के विरोध में आरडीए ने भी जेएन मेडिकल कॉलेज में ट्रॉमा सेंटर के सामने कैंडल मार्च निकाला। डीएम को संबोधित ज्ञापन राष्ट्रपति को भेजा। मांग की कि जेएनयू के कुलपति व रजिस्ट्रार अपने पद से इस्तीफा दें। उच्चस्तरीय जांच कर दोषियों पर सख्त कार्रवाई की जाए।


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