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अलीगढ़ में वैट चुकता न होने पर 500 कारोबारियों के बैंक खाते सीज Aligarh news

आठ करोड़ के लिए वाणिज्यकर विभाग ने की बड़ी कार्रवाई। सौ करोड़ रुपये के लिए ढाई हजार कारोबारियों पर है नजर।

By Sandeep SaxenaEdited By: Published: Thu, 30 Jan 2020 12:30 PM (IST)Updated: Fri, 31 Jan 2020 08:47 AM (IST)
अलीगढ़ में वैट चुकता न होने पर 500 कारोबारियों के बैंक खाते सीज Aligarh news
अलीगढ़ में वैट चुकता न होने पर 500 कारोबारियों के बैंक खाते सीज Aligarh news

अलीगढ़ [मनोज जादौन] वैल्यू एडेड टैक्स (वैट) की वसूली के लिए वाणिज्यकर विभाग ने कारोबारियों के बैंक खाते सीज करने शुरू कर दिए हैं। जिले के करीब ढाई हजार कारोबारियों पर सौ करोड़ रुपये बकाया है। इनमें से आठ करोड़ के बकायेदार 500 कारोबारियों के खाते तो सीज कर दिए गए हैं। इनसे 1.80 करोड़ रुपये वसूल किया गया है। ज्वॉइंट कमिश्नर कार्यपालक उत्तम सिंह का कहना है क‍ि लंबित वसूली को लेकर खाता सीज व कुर्की की कार्रवाई की जा रही है। उद्यमी अपना कर जमा करें, अन्यथा संपत्ति निलामी व जरूरत पडऩे पर दागी फर्म संचालक की गिरफ्तारी भी की जाएगी। 

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12 का चेक कराया गया जमा 

इनमें बड़े बकायेदार पीएसी स्थित चौधरी फर्नीचर से 16.50 लाख, अरविंद ब्रदर्स से 11.57 लाख, दोदपुर स्थित शिव्रो टैक से 6 लाख 12 हजार 500, रुपये, मैरिस रोड स्थित डिवाइन इंडिया से 6 लाख 47 हजार 500 रुपये, दोदपुर स्थित शैफी एंटरप्राइजेज से 5.27 लाख रुपये वसूल किए हैं। विष्णुपुरी स्थित अजय मेडिकल स्टोर पर 65 लाख रुपये बकाया है। खाता सीज होने पर फर्म की ओर से 12 लाख का चेक जमा कराया गया। दागी कारोबारियों के खिलाफ विभाग ने रिपोर्ट कराने व संपत्ति कुर्क की प्रक्रिया शुरू कर दी है। इससे कारोबारियों में खलबली मची हुई है, जिनके खाते सीज किए हैं, उनमें से कई तो गिरफ्तारी के डर से शहर से ही गायब हो गए हैं। ऐसे कारोबारियों से वसूली के लिए दो साल से विभाग प्रयास कर रहा है। एक जुलाई 2017 से देश में नई कर व्यवस्था वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) लागू किया गया। इसके बाद वैट में पंजीकृत फर्मों का विलय जीएसटी में हो गया, लेकिन ढाई हजार फर्मों ने अपने पिछले बकाया (वैट) का भुगतान विभाग को नहीं किया। इनसे बकाया वसूली के लिए विभाग की टीम जिले के सभी 12 सेक्टर में सर्वे कर पूर्व में नोटिस भी दे चुकी है।  

कर वसूली का चौतरफा दबाव 

विभाग ने खाते सीज करने की कार्रवाई वसूली के लिए बढ़ते दवाब के चलते की है। दरअसल, घटते राजस्व को लेकर पिछले माह लखनऊ में बैठक हुई थी, जिसमें सीएम योगी आदित्यनाथ ने अफसरों को जमकर खरी-खरी सुनाई थी। इसके बाद एडिशनल कमिश्नर ग्रेड वन ने सेक्टर के डिप्टी कमिश्नर व असिस्टेंट कमिश्नर को लंबित बकाये की वसूली के लिए सख्त निर्देश दिए। इसके बाद वाणिज्यकर अधिकारियों के साथ ही अमीन भी वसूली अभियान में जुट गए हैं।

आज होगी आगरा में बैठक 

बकाया वसूली को लेकर 30 जनवरी को आगरा में अपर मुख्य सचिव आलोक सिन्हा समीक्षा बैठक करेंगे। एडिशनल कमिश्नर बीएन सिन्हा ने बताया कि अलीगढ़ की तरह ही मथुरा, कासगंज, हाथरस और एटा में भी कार्रवाई की जा रही है।


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