महंगा पड़ रहा प्याज, लहसुन का तड़का, जानिए क्यों
-एक दिन में 900 रुपये प्रति कुंतल दाम में इजाफा आपूर्ति घटने से प्याज का भाव चार वषरें के उच स्तर पर - माग के मुताबिक मंडियों में नहीं पहुंच रहा प्याज
आगरा, जागरण संवाददाता। प्याज उपभोक्ताओं की आखों में लगातार आसू ला रहा है। हालात यह हैं कि दाल व सब्जी में प्याज लहसुन का स्वाद महंगा हो गया है। शुक्त्रवार को आगरा सिकंदरा मंडी में इसका भाव 28 प्रतिशत यानी 900 रुपये बढ़कर चार साल के ऊंचे स्तर पर चला गया। इस दौरान यह आगरा समेत आसपास क्षेत्र में 60 रुपये प्रति किलो तक के भाव पर बिका। बारिश के कारण थोक बाजार में लहसुन, प्याज की आमद कम होने से दाम बढ़ते जा रहे हैं। तीन दिन में थोक बाजार में प्याज के दाम चार हजार से बढ़कर पाच हजार रुपये प्रति कुंतल हो गया। लहसुन का भाव 13 हजार रुपये प्रति कुंतल रहा। खुले बाजार में प्याज 60 से 70 रुपये प्रति किलो व लहसुन का भाव सौ से 150 रुपये प्रति किलो पहुंच गया है। महंगाई के चलते लहसुन, प्याज आम आदमी की पहुंच से दूर होता जा रहा है।
प्याज के दाम पिछले एक माह से चढ़ते जा रहे हैं, लेकिन एक सप्ताह से लगातार हो रही बारिश ने लहसुन, प्याज के थोक बाजार को हिला दिया है। जिले में प्याज की आमद दिल्ली की आजादपुर मंडी मध्यप्रदेश के सतना, इंदौर, राजस्थान के अलवर व महाराष्ट्र के नासिक से होती है। बारिश के कारण इन मंडियों में प्याज व लहसुन कम मात्रा में आ रहा है, जिससे थोक बाजार के दाम चढ़ते जा रहे हैं। मंडी में एक सप्ताह पहले प्याज 3-4 हजार रुपये प्रति कुंतल में आ रहा था। शनिवार को थोक बाजार में प्याज की कीमत 4500 से 5000 रुपये प्रति कुंतल रही। जो फुटकर की दुकानों में पहुंचने तक 60 से 70 रुपये प्रति किलो की हो गई। इसी प्रकार लहसुन के दाम थोक में 5000 से 13000 रुपये प्रति कुंतल रहे।
दाम सुनकर लौट रहे लोग
महंगाई के कारण प्याज व लहसुन आम आदमी से दूर होता जा रहा है। फुटकर सब्जी विक्त्रेता यशवीर सिंह जादौन, महेंद्र कुशवाहा, योगेश सोलंकी, जितेन्द्र नैन ने बताया कि ज्यादातर लोग भाव सुनकर ही आगे बढ़ जाते हैं। जरूरत के अनुसार यदि लोग प्याज खरीदें तो सब्जी का पूरा बजट प्याज में लग जाता है। ऐसे में लोग ग्राम में प्याज की खरीददारी कर रहे हैं। वैसे भी जब थोक में महंगा प्याज मिल रहा है तो फुटकर में दाम बढेंगे ही। अभी और महंगा होगा।