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मल्टी ड्रग से हुई थी ब्रिटिश दंपती की मौत

आगरा: ब्रिटिश दंपती की मौत मल्टी ड्रग के चलते हुई थी।

By JagranEdited By: Published: Sat, 02 Jun 2018 12:21 AM (IST)Updated: Sat, 02 Jun 2018 12:21 AM (IST)
मल्टी ड्रग से हुई थी ब्रिटिश दंपती की मौत
मल्टी ड्रग से हुई थी ब्रिटिश दंपती की मौत

जागरण संवाददाता, आगरा: ताजनगरी में ब्रिटिश दंपती की मौत का राज एक जार में कैद होकर रह गया। दंपती चार साल पहले एक होटल के कमरे में मृत मिले थे। पति-पत्नी की मृत्यु दवाओं के ओवरडोज से होने की आशंका जताई गई थी। मौत का कारण जानने के लिए पुलिस ने दोनों का बिसरा जांच के लिए फोरेंसिक लैब भेजा था। वैज्ञानिकों ने जांच के बाद पाया कि दंपती की मौत मल्टी ड्रग के चलते हुई थी।

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फ्लैश बैक

ब्रिटेन के नॉर्थ आयरलैंड निवासी गैस्केल जेम्स ऑलिवर और उनकी पत्नी एलक्जेंड्रा निकोला लुइस 18 अक्टूबर 2014 को ताजनगरी घूमने आए थे। उनका 19 जून 2014 से 18 दिसंबर 2014 तक का वीजा था। जो कि बर्मिघम से जारी हुआ था। ब्रिटिश दंपती 18 अक्टूबर को फतेहाबाद मार्ग स्थित एक होटल में ठहरे थे। वहां से चेक आउट करने के बाद पुरानी मंडी स्थित एक होटल में 20 अक्टूबर को कमरा लिया। दंपती 21 तारीख को अपने कमरे में मृत मिले। मामला विदेशी पर्यटकों का होने के कारण पुलिस ने उनकी मौत की सभी पहलुओं से जांच शुरू कर दी। गैस्केल और लुइस की मौत की गुत्थी सुलझाने को पुलिस ने शवों का पोस्टमार्टम कराने के बाद उनका बिसरा सुरक्षित रखवा लिया था। इसे बाद में जांच के लिए फोरेंसिक लैब भेजा गया।

दवाओं के ओवरडोज से मौत की थी आशंका

होटल के स्टाफ के बयान और ब्रिटिश दंपती के कमरों से मिली वस्तुओं के चलते उनकी मौत दवाओं के ओवरडोज से होने की आशंका जताई गई थी। दंपती के कमरे से पुलिस को कुछ दवाएं मिली थीं। इसके आधार पर यह आशंका जताई गई थी।

नशीली दवाओं को लेकर किया था ट्वीट

ब्रिटिश दंपती ने मरने से एक दिन पहले ट्वीट किया था। इसमें लिखा था कि भारत में नशीली दवाओं का मिलना काफी आसान है। इस ट्वीट ने भी दंपती की मौत पर कई सवाल खड़े किए थे।

फोरेंसिक परीक्षण ने खोला मौत का राज : वैज्ञानिकों ने दंपती के बिसरे का फोरेंसिक परीक्षण किया। इसमें उन्होंने पाया कि ब्रिटिश दंपती ने कई तरह के ड्रग एक साथ ले लिया था। दवाओं की ओवरडोज के चलते ऑलिवर और उनकी पत्नी लुइस की मौत हुई थी।

जार में कैद हैं 400 से अधिक

फोरेंसिक लैब में इस समय 400 से अधिक बिसरा जांच के लिए लंबित हैं। इसका प्रमुख कारण वैज्ञानिकों की कमी होना है। इसके चलते 400 से अधिक मौतों का राज अभी भी जार में कैद है।


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