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अब मिठाई भी मीठी नहीं होगी, दीवाली पर रहेगा इनका ट्रेंड Agra News

दीवाली पर शुगर फ्री और गुड़ की मिठाई की बढ़ी डिमांड। ड्राई फ्रूट्स से दे रहे सेहत की सौगात। पॉपी सीड्स को भी किया जा रहा पसंद।

By Prateek GuptaEdited By: Published: Mon, 21 Oct 2019 09:08 AM (IST)Updated: Mon, 21 Oct 2019 09:08 AM (IST)
अब मिठाई भी मीठी नहीं होगी, दीवाली पर रहेगा इनका ट्रेंड Agra News
अब मिठाई भी मीठी नहीं होगी, दीवाली पर रहेगा इनका ट्रेंड Agra News

आगरा, जागरण संवाददाता। दीवाली पर मुंह मीठा करने की परंपरा तो बहुत पुरानी है। त्योहार की शुभकामनाएं मिठाई के बिना अधूरी हैं। लेकिन बदलती लाइफस्टाइल ने लोगों को जितना बीमार बना दिया है, उसमें लोग अपना मुंह मीठा भी सोच-समझकर, कर रहे हैं। अब हैल्थ कॉन्शियस हो चुके लोग मिठाइयां भी ऐसी खरीद रहे हैं, जो हैल्दी हों।

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भारतीय परंपरा है कि कोई भी त्योहार बिना मिठाई के पूरा नहीं हो सकता है। बात अगर पांच दिवसीय त्योहार की हो तो कहने ही क्या। मिठाई से ही दिन की शुुरूआत होती है और मिठाई से ही शुभकामनाएं दी जाती हैं। पर बदलते दौर के साथ लोगों की सोच ने भी करवट ली है। अब नकली खोए और मिलावट ने लोगों को मिठाई से दूरी बनाने पर मजबूर कर दिया है। आज के समय में लोग अपनी सेहत का भी खासा ध्यान रखते हैं। ऐसे में मिठाई ने भी अपना रूप बदला और हैल्दी का चोला ओढ़ लिया है।

बूंदी की जगह ली खपली ने

बूंदी के लड्डू हर मौके के लिए खास माने जाते हैं। बच्चे के जन्म से लेकर घर की छोटी सी पूजा में भी लड्डू अपनी जगह बना ही लेते हैं। लेकिन हैल्थ कॉन्शियस हो चुके लोग अब चाशनी में डूबे लड्डू की जगह खपली व्हीट लड्डू को पसंद कर रहे हैं। खपली व्हीट आयरन, मैग्नीशियम, फाइबर और प्रोटीन से भरपूर होता है। यह ब्लड शुगर और लिपिड लेवल्स को भी कंट्रोल रखता है। एंटी ऑक्सीडेंट्स भी इसमें अच्छी मात्रा में होते हैं। ग्लूटेन भी काफी कम होता है। यही वजह है कि लोग शहर के लोग अब इन लड्डूओं की डिमांड कर रहे हैं। इन लड्डूओं को चीनी की बजाय गुड़ से बनाया जाता है। इसमें ड्राई फ्रूट्स और अलसी के बीज भी मिलाए जाते हैं।

खोए की नहीं खजूर की बर्फी

पिछले कुछ सालों में हर त्योहार से पहले खाद्य विभाग द्वारा की जाने वाली कार्यवाही ने लोगों की आंखे खोल दी हैं। खोए में होने वाली मिलावट को लेकर लोग जागरूक हो गए हैं। इसलिए अब ऐसी मिठाई खाई और दी जा रही है, जो सेहत को नुकसान ना पहुंचाए। सेहत के लिए खोए को अलविदा कहकर खजूर की बर्फी बनवाई जा रही है। खजूर की प्राकृतिक मिठास के कारण इसमें चीनी नहीं मिलाई जाती है। हैल्दी बनाने के लिए इसमें खसखस भी मिलाई जा रही है।

ड्राई फ्रूट्स की बढ़ी डिमांड

मिलावट के कारण खोए से हुई दूरी ने ड्राई फ्रूट्स की डिमांड को बढ़ा दिया है। अब गिफ्ट में ड्राई फ्रूट की ट्रे, बास्केट आदि पसंद की जा रही है। सॉल्टेड ड्राई फूट्स के पैक और सिल्वर कोटेड ड्राई फ्रूट्स के पैक भी बुक किए जा रहे हैं। लोगों की इस पसंद को देखते हुए अब कई कंपनियों ने इस तरह के खास पैक दीवाली के लिए बाजार में उतारे हैं।

पिस्ता-बादाम की मिठाई बनी पसंद

मीठा भी खा लें और सेहत को नुकसान भी ना हो, इसके लिए काजू, पिस्ता और बादाम से बनी मिठाई को पसंद किया जा रहा है। भगत हलवाई के संचालक शिशिर भगत बताते हैं कि महंगी होने के कारण हम इसे ऑर्डर पर ही बनाते हैं। काजू की मिठाई की कीमत 750 रुपये प्रति किलो से शुरू होती है तो बादाम की मिठाई 1000 से 1200 रुपये प्रति किलो के हिसाब से मिलती है। पिस्ता की मिठाई महंगी है, इसकी कीमत 1800 से 2000 रुपये किलो है। ड्राई फ्रूट्स लड्डू की कीमत 750 रुपये प्रति किलो से शुरू होती है।

हैल्डी सीड्स भी है लिस्ट में

सेहत के दीवानों को मिठाइयों के बजाय कुछ ऐसे सीड्स भी पसंद आ रहे हैं, जो सेहत को काफी फायदा पहुंचाते हैं। इनमें पॉपी सीड्स, सनफ्लावर सीड्स, फ्लैक्स सीड्स, ब्लू बैरी सीड्स डिमांड में हैं। इनकी कीमत ज्यादा है, इसलिए यह एक खास वर्ग में ही खरीदे जा रहे हैं। 750 ग्राम के पैक की शुरुआती कीमत लगभग 1400 रुपये है।

विशेषज्ञ की राय

शुगर फ्री मिठाइयों को लोग पसंद कर रहे हैं। जो डाइट पर चल रहे हैं वो भी ड्राई फ्रूट्स को ज्यादा पसंद करते हैं। चीनी की बजाय गुड़ की बनी मिठाइयों के बारे में मुझसे जानकारी ली जाती है। मेरी सलाह है कि घर पर ही मिठाइयां बनाकर खानी चाहिए।

रेणुका डंग, डायटीशियन 


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