शहर पर तन गई स्मॉग की चादर, खूब चले पटाखे, सुप्रीम कोर्ट के आदेशों की जमकर अनदेखी
दिवाली की शाम छह बजे से लेकर देर रात दो बजे तक शहर पर तनी रही धुएं की चादर। वृद्ध नागरिकों को महसूस हुई सांस लेने में तकलीफ।
आगरा, [जासं]: पिछले दो बरसों का हाल देखकर भी सबक नहीं लिया गया। बदलते मौसम में एक बार फिर शहर पर स्मॉग की चादर तन गई। दिवाली की रात आतिशबाजी के धुएं से लोगों का सांस लेना मुश्किल हो गया। सुप्रीम कोर्ट के आदेशों की ताजनगरी में जमकर अनदेखी हुई।
दिवाली की रात सुप्रीम कोर्ट ने दो घंटे की अवधि में पटाखे चलाने की अनुमति दी थी। रात आठ से 10 बजे तक का समय निर्धारित था। ताजनगरी में इस समय सीमा का कोई पालन नहीं होता दिखा। देर रात दो बजे तक आतिशबाजी के धमाके सुनाई देते रहे। शाम सात से ही शुरू हुई आतिशबाजी के चलते दमघोंटू धुआं वातावरण में बना रहा। मौसम ठंडा होने की वजह से धुआं निचली सतह पर ही छाया रहा। रात करीब डेढ़ बजे तक सड़कों पर यह स्थिति रही कि जैसे कोहरा हो। हालांकि वह कोहरा न होकर स्मॉग था। जिससे वृद्ध नागरिकों को घरों के अंदर भी सांस लेने में तकलीफ महसूस हुई। पुलिस शहर के मुख्य चौराहों पर तो सक्रिय रही लेकिन कॉलोनियों और मुहल्लों में देर रात तक पटाखे चलाने वालों पर कोई नियंत्रण न कर सकी। स्थानीय प्रशासन ने ताजमहल पर लगे वायु प्रदूषण मापक यंत्र के आंकड़े तलब किए हैं, जो आज शाम तक उपलब्ध होंगे। इसके बाद स्थिति की समीक्षा की जाएगी।