अंतिम परीक्षा को बचे बस कुछ ही घंटे शेष, इस वजह से छूट रहा अब नगर निगम का पसीना Agra News
स्वच्छता सर्वेक्षण-2020 के फाइनल राउंड की शुरुआत शनिवार से होगी। यह 31 जनवरी तक चलेगा।
आगरा, जागरण संवाददाता। स्वच्छता सर्वेक्षण 2020 में आगरा ने दो राउंड की परीक्षा में भले ही पश्चिम के कई शहरों को पछाड़ दिया हो, लेकिन जनवरी में अंकों की लड़ाई में नगर निगम को पसीना छूट रहा है। इसमें जहां स्थलीय निरीक्षण के दौरान टीम स्वच्छता की जांच करेगी, वहीं जनता से भी फीड बैक लिया जाएगा। रात्रिकालीन सफाई को भी प्राथमिकता पर देखा जाएगा।
स्वच्छता सर्वेक्षण-2020 के फाइनल राउंड की शुरुआत शनिवार से होगी। यह 31 जनवरी तक चलेगा। आवास एवं शहरी मंत्राालय की टीम शहर में सफाई व्यवस्था को परखेगी। पिछले सप्ताह जारी सर्वेक्षण की रैंकिंग में आगरा देश में 23वें स्थान (पहला राउंड) और 28वें स्थान (दूसरा राउंड) पर रहा। वर्ष 2019 में आगरा देश में 85वें स्थान पर था। नगरायुक्त अरुण प्रकाश ने बताया कि तीसरे राउंड का सर्वेक्षण हो चुका है। फाइनल राउंड के लिए युद्धस्तर पर कार्रवाई शुरू की गई है।
ठीक से नहीं हो रहा डोर-टू-डोर कूड़ा कलेक्शन
डोर-टू-डोर कूड़ा कलेक्शन सही से नहीं हो रहा है। अब तक सौ वार्डो के 3.20 लाख घरों में चिप नहीं लगी है और न ही सौ फीसद इसे लागू किया गया है। इससे स्मार्ट तरीके से हाजिरी लगाने की योजना कागजों में कैद हो गई है। इसकी शिकायत मेयर नवीन जैन से की गई है। पार्षद रवि माथुर ने बताया कि कूड़ा कलेक्शन में लापरवाही बरती जा रही है। लोगों से हर माह रुपये लिए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि छह जनवरी को नगर निगम के सदन में पूरे दस्तावेज रखे जाएंगे।
फैक्ट फाइल
- नगर निगम के सौ वार्डो से हर दिन साढ़े सात सौ मीटिक टन कूड़ा निकलता है।
- सभी वार्डो में पांच हजार के करीब मोहल्ले हैं।
- 350 मीटिक टन कूड़ा गीला और 400 मीटिक टन कूड़ा सूखा होता है।
- वर्तमान में हर दिन 35 मीटिक टन गीले कूड़े से खाद तैयार की जा रही है, जबकि तीन सौ मीटिक टन का प्लांट लगने जा रहा है।
- नगर निगम के 3200 स्थायी कर्मचारी हर दिन सफाई करते हैं, जबकि ढाई हजार के करीब अस्थायी कर्मचारी भी हैं।
- ननि के पास 301 छोटी और बड़ी गाड़ियां हैं।
15 से वबाग के हाथ सफाई का जिम्मा
शहर की सीवर की सफाई का जिम्मा 15 जनवरी से वीटेक वबाग कंपनी संभालेगी। कंपनी ने शासन से 15 दिन की मोहलत मांगी थी, जो मिल गई है। तब तक जल संस्थान की टीम सीवर सफाई करेगी। कंपनी सबसे पहले ताजगंज जोन को संभालेगी फिर बाकी के तीन जोन को बारी-बारी से लिया जाएगा।
आगरा शहर में 910 किमी लंबी सीवर लाइन है। दर्जनभर सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) और 28 मुख्य पंपिग स्टेशन (एमपीएस) हैं। पिछले माह वीटेक वबाग कंपनी ने एसटीपी और एमपीएस को संभालना शुरू कर दिया। एक जनवरी से कंपनी को सीवर सफाई की भी जिम्मेदारी संभालनी थी, लेकिन कंपनी के अफसरों ने हाथ खड़े कर दिए। अफसरों ने शासन को पत्र लिख 15 दिन की मोहलत मांगी। एक अधिकारी ने बताया कि सीवर सफाई फिलहाल जल संस्थान की टीम करेगी।
मांगा गया ब्लू प्रिंट
जल संस्थान के महाप्रबंधक आरएस यादव ने बताया कि वीटेक वबाग कंपनी से ब्लू प्रिंट मांगा गया है। हर दिन जो भी शिकायतें आएंगी, उनका निस्तारण किस तरीके से किया जाएगा, चोक सीवर लाइन को किस तरीके से खोला जाएगा, किन-किन मशीनों का प्रयोग होगा और कितना स्टाफ रहेगा, इसकी पूरी जानकारी मांगी गई है।
एसटीपी से नहीं उठ रहा कूड़ा, लोगों ने जताया विरोध
नगला बूढ़ी स्थित एसटीपी से कूड़ा उठान सही तरीके से नहीं किया जा रहा है। इससे क्षेत्रीय लोगों में नाराजगी है। गुरुवार दोपहर क्षेत्रीय लोगों ने विरोध जताया।
दिसंबर 2019 से वीटेक वबाग कंपनी सात एसटीपी का संचालन कर रही है। इसके लिए कर्मचारियों की तैनाती की गई है। एक कर्मचारी सीवर लाइन से लगातार कूड़ा निकलता है और उसे समीप फेंका जाता है। हर दिन आधा मीटिक टन कूड़ा निकलता है। नगला बूढ़ी एसटीपी से ठीक तरीके से कूड़े का उठान नहीं किया जा रहा है। इससे चारों ओर गंदगी फैली रहती है। बदबू से लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। क्षेत्रीय निवासी गुलाब सिंह ने बताया कि कंपनी के अफसर सही तरीके से निगरानी नहीं कर रहे हैं। इसी के चलते कूड़े का उठान नहीं हो रहा है। जल्द नगरायुक्त को ज्ञापन दिया जाएगा।