आगरा में पार्षदों ने लगाया सवालिया निशान, मच्छर मरते नहीं और हर महीने 24 लाख खर्च
आगरा में सुबह फागिंग के बदले एंटी लार्वा का छिड़काव कराए जाने पर दिया जोर। मेयर नवीन जैन से की गई शिकायत। एक दिन की फागिंग में 1.60 लाख रुपये होते हैं खर्च। नगर निगम के सौ वार्डों में पांच हजार मोहल्ले हैं।
आगरा, जागरण संवाददाता। नगर निगम में सुबह की फागिंग में खेल किया जा रहा है। फागिंग के नाम पर रस्म अदायगी की जाती है। इससे मच्छर नहीं मरते हैं, जबकि फागिंग में हर माह 24 लाख रुपये खर्च हो रहे हैं। सुबह की फागिंग पर पार्षदों ने सवालिया निशान लगाया है। मेयर नवीन जैन से इसकी शिकायत की है। एंटी लार्वा के छिड़काव पर जोर दिया है। नगर निगम के सौ वार्डों में पांच हजार मोहल्ले हैं। इसमें 3.15 लाख भवन हैं। निगम प्रशासन द्वारा फागिंग में हर दिन 1.60 लाख रुपये (एक माह में कुल 48 लाख रुपये) खर्च होते हैं। इसमें 80 हजार रुपये सुबह और इतनी ही धनराशि शाम को खर्च होती है। पार्षद रवि माथुर ने बताया कि पिछले सप्ताह स्वास्थ्य विभाग के साथ बैठक में सुबह की फागिंग के बदले एंटी लार्वा का छिड़काव करने पर जोर दिया गया था क्योंकि फागिंग का कुछ खास असर नहीं होता है। इसके उलट शाम को मच्छरों का प्रकोप रहता है। ऐसे में फागिंग होनी चाहिए। निगम प्रशासन द्वारा रोस्टर जारी किया जाना चाहिए। पार्षद राकेश जैन ने बताया कि निगम के पास 14 छोटी और दो बड़ी गाड़ियां हैं। 24 बाइक हैं जिसमें मशीन को रखकर तंग गलियों में फागिंग की जा सकती है। एंटी लार्वा का छिड़काव ठीक से किया जाना चाहिए। पार्षद प्रकाश केशवानी ने बताया कि सुबह की फागिंग के नाम पर पैसा फालतू में खर्च किया जा रहा है। जहां फॉगिंग कराई भी जा रही है, वहां मच्छरों पर कोई असर नहीं दिख रहा है। ये भी हो सकता है कि दवाई कम और पानी ज्यादा मिलाया जा रहा हो, इसकी जांच होनी चाहिए।
सुबह की फागिंग को लेकर दो से तीन दिनों के भीतर अफसरों के साथ बैठक की जाएगी। इसके बाद ही कोई निर्णय लिया जाएगा।
नवीन जैन, मेयर