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CoronaVirus: जंग को तैयार हुआ ये नया हथियार, शरीर पर लगा संक्रमण भी दूर करेगा Corona disinfection cabin

समाजसेवी संस्‍था ने जिला जेल सहित दस जगहों पर लगाई फुल बॉडी सेनेटाइज केेबिन। अब हरीपर्वत थाने में कोई नहीं जा पाएगा बिना सेनेटाइज हुए।

By Tanu GuptaEdited By: Published: Sat, 11 Apr 2020 04:09 PM (IST)Updated: Sat, 11 Apr 2020 08:04 PM (IST)
CoronaVirus: जंग को तैयार हुआ ये नया हथियार, शरीर पर लगा संक्रमण भी दूर करेगा Corona disinfection cabin
CoronaVirus: जंग को तैयार हुआ ये नया हथियार, शरीर पर लगा संक्रमण भी दूर करेगा Corona disinfection cabin

आगरा, जागरण संवाददाता। एक तरफ शहर को वुहान की तर्ज पर सेनेटाइज करने की शुरुआत हो चुकी है तो दूसरी तरफ कोरोना वायरस से जंग लड़ रहे योद्धाओं को संक्रमण रहित करने के लिए समाज सेवी संस्‍था ने नई पहल की है। जिला जेल, हरीपर्वत थाना, पुलिस लाइन, शाहगंज थाना, शहीद नगर पुलिस चौकी, एसएन मेडिकल कॉलेज, जिला अस्‍पताल सहित दस स्‍थानों पर फुल बॉडी सेनेटाइज केेबिन लगाई गई है। इन स्‍थानों के मुख्‍य द्वार पर ही केेबिन को लगाया गया है। हर आने जाने वाले का पूरा शरीर कैबिन में प्रवेश करते ही स्‍वत: ही सेनेटाइज हो जाएगा। संस्‍था के संस्‍थापक प्रदीप खंडेलवाल के अनुसार सरकार ने बार- बार हाथ धोनेे के लिए प्रेरित किया। सेनेटाइज करना भी सिखा दिया गया है लेकिन यदि शरीर के अन्‍य भाग पर वायरस लग जाए तो क्‍या करें, इसका उपाए अब तक नहीं सूझा था। ऐसे में संस्‍था ने फुल बॉडी सेनेटाइज केेबिन तैयार किया है। इसेे पूरी तरह से वेस्‍ट मटेरियल से तैयार किया गया है। केेबिन का नाम कोरोना डिसइन्फेक्शन कैबिन रखा गया है। समाज सेवी संस्था के संस्थापक प्रदीप खंडेलवाल ने बताया कि उन्होंने यह केेबिन वेस्ट मटेरियल से बनाया है। उपरोक्‍त स्‍थानों में आने वाला हर व्यक्ति पहले इस मशीन में सेनेटाइज होगा तब आगे बढ़ेगा। सेनेटाइजर मशीन में पानी के साथ सोडियम हाइड्रोक्लोराइड को मिलाकर फुव्‍वारों के माध्यम से छिड़काव की व्यवस्था है।

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कैसे काम करता है कैबिन

प्रदीप खंडेलवाल ने बताया कि कोरोना डिसइन्फेक्शन केेबिन को सबसे पहले जिला जेल में लगाया गया था। वहां इसका पॉजिटिव रिजल्‍ट मिलने के बाद अन्‍य स्‍थानों पर लगाने की शुरुआत शनिवार से की गई है। इसकी विशेषता है कि येे एग्रीकल्‍चर- हॉर्टिकल्‍चर स्‍प्रे पंप से निकले अतिरिक्‍त सामान से बनाया गया है। मात्र तीन घंटे और करीब आठ हजार रुपए में एक केेबिन तैयार हुआ है। इसमें उपयोग होने वाला कैमिकल पदार्थ पर्याप्त मात्रा में क्रय कर लिया गया है। जिसे आवश्यकता अनुसार सभी कर्मचारियों को सैनिटाइज करने में उपयोग में लाया जाएगा। इसमें लगे स्‍प्रेे में 6 नोजल्‍स लगे हैं। व्‍यक्ति के केेबिन में प्रवेश करते ही नोजल्‍स में से पानी में घुला हुआ हाइड्रोक्‍लोराइड का छिड़काव होता है। प्रदीेप के अनुसार प्रदेश की किसी जेल या थाने में किया गया यह पहला प्रयास है।  


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