वर्ल्ड हेरिटेज सिटी की पाबंदियों की सता रही चिंता, जानिए क्यों
सेप्ट ने सोमवार को अधिकारियों व शहरवासियों से लिया फीडबैक नगर निगम स्थित स्मार्ट सिटी के कांफ्रेंस हॉल में चला बैठकों का दौर
आगरा, जागरण संवाददाता। ताजनगरी को वर्ल्ड हेरिटेज सिटी बनाने के लिए सोमवार को भी मंथन का दौर जारी रहा। नगर निगम स्थित स्मार्ट सिटी के कांफ्रेंस हॉल में सेंटर फॉर इन्वायरमेंटल प्लानिंग एंड टेक्नोलाजी (सेप्ट) की टीम द्वारा अधिकारियों व शहरवासियों से फीडबैक लिया गया। सभी ने आगरा को हेरिटेज सिटी बनाने के प्रस्ताव पर सहमति दी, लेकिन ताज ट्रेपेजियम जोन (टीटीजेड) की पाबंदियों से जूझते शहर के स्मार्ट सिटी बनने से परेशानियां बढ़ने की चिंता भी झलकी।
सेप्ट की टीम ने रविवार को जनप्रतिनिधियों के समक्ष स्मार्ट सिटी पर प्रेजेंटेशन दिया था। सोमवार को सुबह 11 से दोपहर एक बजे तक अधिकारियों के लिए प्रेजेंटेशन हुआ। इसमें स्मार्ट सिटी बनाने को होने वाली प्रक्रिया की जानकारी दी गई। सेप्ट की टीम द्वारा ताजमहल के आसपास के क्षेत्र, यमुना किनारा, पुराना शहर व आगरा किला के आसपास के क्षेत्र को हेरिटेज सिटी में शामिल करने का सुझाव दिया। नगर निगम में हेरिटेज सेल बनाने पर चर्चा हुई। कमिश्नर अनिल कुमार ने वर्ल्ड हेरिटेज सिटी बनने पर लागू होने वाली पाबंदियों को भी प्लान में शामिल करने पर जोर दिया। डीएम एनजी रवि कुमार ने टीटीजेड की पाबंदियां पहले से लागू होने से शहर के और अधिक पाबंदियां झेलने को तैयार नहीं होने की बात कही।
सेप्ट द्वारा अधिकारियों व शहरवासियों से लिए गए फीडबैक पर एक सप्ताह में रिपोर्ट तैयार कर उपलब्ध कराई जाएगी। बैठक में एडीए उपाध्यक्ष शुभ्रा सक्सेना, नगर आयुक्त अरुण प्रकाश, उपनिदेशक पर्यटन अमित, आरके सिंह, सेप्ट के प्रो. शाश्वत बंद्योपाध्याय, डॉ. जिग्ना देसाई समेत संबंधित विभागों के अधिकारी मौजूद रहे। यह आएंगी दिक्कतें
-वर्ल्ड हेरिटेज सिटी में चुने गए क्षेत्र में नए निर्माण नहीं हो सकेंगे।
-भवनों के मूल स्वरूप में बदलाव नहीं किया जा सकेगा।
-विकास कार्यो में अड़चनें आएंगी।
-प्रत्येक विभाग टेलीफोन लाइन, बिजली लाइन, सीवर लाइन, पानी की पाइपलाइन आदि बिछाने की अनुमति हेरिटेज सेल से लेनी होगी।
अकबर के समय का शहर बने हेरिटेज सिटी
पर्यटन संस्थाओं ने आगरा को वर्ल्ड हेरिटेज सिटी बनाने के लिए हो रहे प्रयास को सराहा है। पर्यटन संस्थाओं के साथ हुई बैठक में टूरिज्म गिल्ड के उपाध्यक्ष राजीव सक्सेना ने कहा कि आगरा के हेरिटेज सिटी बनने से ताज के साथ पूरा शहर विरासत बनेगा। लोगों को विरासत का महत्व समझ आएगा। पर्यटकों के रात्रि प्रवास की बाधा दूर होगी। अकबर के समय का शहर (ओल्ड सिटी वॉल में बसे शहर) को हेरिटेज सिटी में शामिल किया जाए। आगरा टूरिज्म डवलपमेंट फाउंडेशन के अध्यक्ष संदीप अरोड़ा ने सेप्ट की टीम को सुप्रीम कोर्ट मॉनीटरिग कमेटी की वर्ष 1996 की रिपोर्ट, ताजमहल का पुराना नक्शा, जिसमें ताजगंज के चारों कटरे शामिल थे सौंपा। उन्होंने हेरिटेज सिटी के लिए स्टेकहोल्डर्स से रायशुमारी करने को कहा। इस पर सेप्ट की टीम ने सहमति जताई। बैठक में टूरिज्म गिल्ड के अध्यक्ष हरी सुकुमार, होटल एंड रेस्टोरेंट एसोसिएशन के अध्यक्ष राकेश चौहान, होटल एंड रेस्टोरेंट ऑनर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष रमेश वाधवा, संजीव जैन मौजूद रहे। प्रस्तावित क्षेत्र में अनावश्यक प्रतिबंध नहीं लगें
उद्यमियों ने सेप्ट की टीम के साथ हुई बैठक में टीटीजेड, उद्योगों के वर्गीकरण से शहर में उद्योगों के प्रभावित होने का हवाला दिया। आगरा डवलपमेंट फाउंडेशन के सचिव केसी जैन ने हेरिटेज सिटी के क्षेत्र में निजी भवनों को शामिल करने पर उन्हें आर्थिक मदद देने, प्रस्तावित क्षेत्र में अनावश्यक प्रतिबंध नहीं लगाने, परंपरागत रोजगार के माध्यम को सशक्त बनाने, हेरिटेज सिटी और अधिक प्रतिबंधों के साथ न बनने के सुझाव दिए। एफमेक अध्यक्ष पूरन डाबर, टीएन अग्रवाल आदि मौजूद रहे।