‘सर्वर’ व ‘हैंडओवर’ में डाउन ताजगंज के कैमरे, ये है पूरा मामला Agra News
140 कैमरे लगाए गए थे ताजमहल के रास्तों पर ताजगंज प्रोजेक्ट में।
आगरा, जागरण संवाददाता।‘सर्वर’ व ‘हैंडओवर’ में ताजमहल के रास्तों पर सुरक्षा को लगाए कैमरे डाउन पड़े हैं। एक वर्ष से यह स्थिति होने के बावजूद उनकी सुध लेने वाला कोई नहीं। जिम्मेदार विभाग एक-दूसरे के पाले में गेंद फेंकने में लगे हैं।
सपा सरकार में ताजमहल व उसके आसपास ताजगंज में सुंदरीकरण के लिए ताजगंज प्रोजेक्ट में काम किया गया था। यहां सुरक्षा के लिए अत्याधुनिक इंतजाम किए गए थे। शिल्पग्राम पार्किंग से शुरू होकर ताज पश्चिमी गेट पार्किंग तक ताजमहल को जाने वाले रास्तों पर 140 सीसीटीवी कैमरे लगाए गए थे। इनके साथ हाइड्रोलिक बोलार्ड व बूम बैरियर भी लगाए थे। मॉनीटरिंग के लिए कंट्रोल रूम वन विभाग के कार्यालय के सामने बनाया गया था। करीब एक वर्ष से ताजगंज प्रोजेक्ट में लगे सीसीटीवी कैमरे सर्वर के खराब होने की वजह से शोपीस बने हुए हैं। पर्यटन विभाग को कई बार कैमरे शुरू कराने को पुलिस द्वारा पत्र भेजे जा चुके हैं। पर्यटन विभाग कार्यदायी संस्था राजकीय निर्माण निगम को पत्र भेज देता है। सर्वर सही कराने का काम नहीं हो सका है। कंट्रोल रूम भी अभी तक पुलिस को हैंडओवर नहीं हो सका है। इसे एडीए को हैंडओवर करने पर भी विचार हुआ था, जिससे कि मेंटीनेंस हो सके, लेकिन बात नहीं बनी।
एनुअल मेंटीनेंस कॉस्ट को लेकर सवाल
ताजगंज प्रोजेक्ट में काम तो किया गया, लेकिन एनुअल मेंटीनेंस कॉस्ट का प्रावधान नहीं किया गया। इससे अब प्रोजेक्ट के रखरखाव में मुश्किलें आ रही हैं।
यह कैमरे हैं खास
नौ पीटीजेड कैमरे: यह 360 डिग्री के कोण पर घूमने और जूम करने वाले हैं।
10 केएनपीआर कैमरे: यह ऑटोमेटिक नंबर प्लेट रीडिंग कर सकते हैं।
भेजा जाएगा दोबारा रिमाइंडर
ताजगंज प्रोजेक्ट में खराब सर्वर व कैमरों को सही करने के लिए पत्रचार किया जा रहा है। पर्यटन विभाग को दोबारा रिमाइंडर भेजा जाएगा।
बबलू कुमार, एसएसपी