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Verification: डकैती में जेल गया हिस्ट्रीशीटर कर रहा चौकीदारी और चोर पल्लेदारी

हिस्ट्रीशीटरों के सत्यापन में सामने आए चौंकाने वाली हकीकत। ईगल मोबाइल ने जिले के 1700 हिस्ट्रीशीटरों का किया सत्यापन।

By Prateek GuptaEdited By: Published: Mon, 13 Jul 2020 02:30 PM (IST)Updated: Mon, 13 Jul 2020 02:45 PM (IST)
Verification: डकैती में जेल गया हिस्ट्रीशीटर कर रहा चौकीदारी और चोर पल्लेदारी
Verification: डकैती में जेल गया हिस्ट्रीशीटर कर रहा चौकीदारी और चोर पल्लेदारी

आगरा, यशपाल चौहान। कभी इलाकों में उनका खौफ था। किसी की दबंगई थी तो कोई अपराध की दुनिया में बहुत आगे थे। मगर, अपराध से अर्जित धन उनके काम नहीं आया और समय के साथ दबंगई और रुतबा भी खत्म हो गया। पुलिस ने हिस्ट्रीशीटरों के सत्यापन कराए तो हर हिस्ट्रीशीटर की चौंकाने वाली कहानी सामने आई। अब डकैती डालने वाला चौकीदारी कर रहा है तो चोर पल्लेदारी। कई हिस्ट्रीशीटर बैंक में नौकरी तो कोई भटूरे की ठेल लगा रहा है। पुलिस उन्हें अब अपराध में निष्क्रिय मान रही है। मगर, मॉनीटरिंग लगातार की जा रही है।

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एसएसपी बबलू कुमार ने जुलाई 2019 में अपराधियों के सत्यापन ईगल मोबाइल का गठन किया था। 80 पुलिसकर्मियों की इस टीम में से हर थाने स्तर पर दो पुलिसकर्मी लगाए गए। इनको बाइक और स्मार्ट फोन दिए गए। काम था सिर्फ अपराधियों की मॉनीटरिंग करना। टीम का एक वाट्सएप ग्रुप बनाया गया, जिसे डीसीआरबी से जोड़ा गया। अब तक ये हर थाना क्षेत्र के लुटेरे, चोर और अन्य तरह के अपराधियों के घर जाकर सत्यापन कर रहे थे। जेल से छूटने वाले अपराधियों की सूची हर दिन एसएसपी खुद इसी ग्रुप पर डालते हैं।संबंधित थाने की ईगल मोबाइल इसका सत्यापन करती है। कानपुर में हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे से मुठभेड़ के बाद यह टीम हिस्ट्रीशीटरों के सत्यापन में लगा दी गई। अब तक जिले के सभी 1700 हिस्ट्रीशीटरों का सत्यापन हो चुका है। इससे पहले भी कुछ हिस्ट्रीशीटरों के सत्यापन किए गए थे। एसएसपी बबलू कुमार ने बताया कि इस प्रक्रिया में में अपराधी की वर्तमान स्थिति, कार्य आदि की जानकारी ली जा रही है। इसमें चौंकाने वाले तथ्य सामने आए हैं। मंटोला के एचएस नंबर 32 ए तमोली पाड़ा निवासी 54 वर्षीय गुल्लू पूर्व में डकैती में जेल जा चुका है। अब वह अपने घर के पास ही बाजार में रात में चौकीदारी करता है। छत्ता थाने एचएस नंबर 24 अ 28 वर्षीय सूरज जोंस मिल लाइन में रहता है। वह चोरी करने का अभ्यस्थ अपराधी है। पुलिस के मुताबिक यह अभी निष्क्रिय है और जीवनी मंडी में ही पल्लेदारी का काम करता है। एमएम गेट थाना क्षेत्र का हिस्ट्रीशीटर मुकेश धीमर मारपीट करने का अभ्यस्थ है। 42 वर्ष की आयु में अब वह काली बाड़ी मंदिर में फूल बेचता है। छत्ता थाने का हिस्ट्रशीटर नंबर 67 अ विनोद उर्फ वंशी बेलनगंज के कचौड़ा बाजार में रहता है। डकैती में जेल जाने के बाद अब 43 वर्ष की उम्र में वह बैंक में कार्य करता है। कोतवाली का हिस्ट्रीशीटर नंबर 37 मुकेश कुमार चोरी में जेल गया था। 42 वर्ष का होने पर अब वह छोटे भटूरे की ठेल लगा रहा है। इनकी तरह और भी कई हिस्ट्रीशीटर गार्ड की नौकरी कर रहे हैं, कोई एलआइसी एजेंट तो कोई मेडिकल स्टोर और परचून की दुकान कर रहा है। ईगल मोबाइल ने इन सभी का सत्यापन कर लिया है। इन्हें निष्क्रिय माना जा रहा है। मगर, हर माह इनका सत्यापन किया जाएगा।

जारी रहेगी मॉनीटरिंग

एसएसपी बबलू कुमार ने बताया कि ईगल मोबाइल को केवल अपराधियों के सत्यापन का काम दिया गया है। यह टीम सत्यापन के साथ अब इन अपराधियों की मॉनीटरिंग जारी रखेगी। सक्रिय अपराधियों की हर सप्ताह और निष्क्रिय की माह में एक बार मॉनीटरिंग की जाएगी। 


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