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Vigilance Police Station: आगरा के इस थाने में आते हैं आठ जिले, फिर भी पांच महीने से है मुकदमे का खाता खुलने का इंतजार

Vigilance Police Station इस साल जून में खुला था विजिलेंस थाना आगरा जोन के आठ जिले आते हैं थाने में। भ्रष्टाचार के मामलों के दर्ज होते हैं मुकदमे अभी तक नहीं खुला है मुकदमा दर्ज होने का खाता।

By Tanu GuptaEdited By: Published: Fri, 27 Nov 2020 04:35 PM (IST)Updated: Fri, 27 Nov 2020 04:35 PM (IST)
Vigilance Police Station: आगरा के इस थाने में आते हैं आठ जिले, फिर भी पांच महीने से है मुकदमे का खाता खुलने का इंतजार
इस साल जून में खुला था विजिलेंस थाना

आगरा, जागरण संवाददाता। जिले का एक थाना ऐसा भी है, जो पांच महीने से मुकदमा दर्ज होने का खाता खुलने का इंतजार कर रहा है। जबकि वह आठ जिलों का इकलौता थाना है। इसके बावजूद उसकी अपराध संख्या जीरो है। इस थाने में एक इंस्पेक्टर और पांच उप निरीक्षक समेत दस लोगों का स्टाफ तैनात है। एक ओर जिले के थानों में मुकदमों की अपराध संख्या कई सौ तक पहुंच चुकी है। विवेचकों पर विवेचना का बोझ है। वहीं दूसरी ओर इस थाने का स्टाफ मुकदमा दर्ज होने का इंतजार कर रहा है।

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बात हो रही है आगरा मे इस साल जून में खुले विजिलेंस थाने की। इस थाने काे खोलने का उद्देश्य भ्रष्टाचार के मुकदमों को एक जगह दर्ज करना है। आगरा विजिलेंस कार्यालय में आठ जिले आते हैं। इन सभी जिलों के विभागों में होने वाले भ्रष्टाचार के मामलों की जांच आगरा विजिलेंस करती है। पूर्व में शासन से अनुमति मिलने के बाद भ्रष्टाचार या आय से अधिक संपत्ति के मामलों के मुकदमे संबंधित जिले के संबंधित थाने में दर्ज किए जाते थे। मगर, इसकी विवेचना विजिलेंस द्वारा ही की जाती थी। इसके चलते विजिलेंस के आगरा परिक्षेत्र कार्यालय में थाना खोला गया है। अब आठ जिलों के भ्रष्टाचार के मुकदमे इस थाने में दर्ज किए जाएंगे। इससे विजिलेंस की भागदौड़ बच सकेगी।

विजिलेंस थाने में अभी तक कोई मुकदमा दर्ज नहीं हुआ है। यहां से भ्रष्टाचार की एक दर्जन से ज्यादा जांच पूरी करके मुख्यालय को भेजी जा चुकी हैं। वहां से अनुमति मिलने के बाद आरोपितों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जाएगा।

हेल्पलाइन नंबर पर आई हैं भ्रष्टाचार की आठ शिकायतें

विजिलेंस मुख्यालय लखनऊ ने करीब छह महीने पहले भ्रष्टाचार की शिकायत के लिए हेल्पलाइन नंबर 9454401866 जारी किया था। इसका मकसद पीड़ित द्वारा रिश्चत मांगन वाले अधिकारी या कर्मचारी की सीधी शिकायत करना है। हेल्पलाइन पर अब तक आठ शिकायतें आ चुकी हैं। इनकी जांच की जा रही है । 


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