Raksha Bandhan 2020: सैनिक भाई को भेजी बहनों ने नेह की डोर संग हिम्मत की सौगात
Raksha Bandhan 2020 चीन सीमा पर तैनात भाइयों को बहनों ने भेजी स्नेह की डोरी। चिठ्ठी में लिखा भइया चीन आंख दिखाई तो निकाल लेना।
आगरा, मनोज चौहान। ये रिश्तों की वह डोरी है, जो भाई की कलाई पर बंधेगी, तो दुश्मन देश चीन से मुकाबले को मजबूत बनाएगी। रक्षाबंधन में भाई सरहद पर तैनात हैं, तो बहनों ने अपने हाथों से सजाई स्नेह की डोर चीन की सरहद पर भेज दी। कहने को ये राखी है, लेकिन भाई को चीन से मुकाबले में मुंहतोड़ जवाब देने का हौसला भी है।
चीन से तनाव है, तो कान्हा की नगरी के तमाम जवान सरहद पर तैनात हैं। ऐसे में इस रक्षा बंधन फौजी भाई अपनी बहनों से रक्षासूत्र बंधवाने नहीं आ पा रहे। बहन व्याकुल हैं, लेकिन भाई देश की रखवाली को तैनात है, ऐसे में उत्साहित भी हैं। सौंख कस्बे में रहने वाले नीतेश कुमार सेना में सिपाही हैं। चीन बॉर्डर के डोकलाम में तैनात हैं। बहन नीलम और गामिनी कहती हैं कि इस बार भइया नहीं आ पा रहे हैं, ऐसे में भाई के लिए अपने हाथों से राखी तैयार कर डाक से भेजी है।
ये राखी भाई के लिए रक्षा सूत्र है, चीन से लडऩे में हौसला देगी। दोनों बहनों ने एक चिठ्ठी भी भेजी और कहा कि भाई चीन से मुकाबला हो तो मुंहतोड़ जवाब देना, मुझे तुम पर फक्र है। सौंख की भूमिका और नंदनी के बड़े भाई हरेंद्र चीन बॉर्डर पर तमांग में तैनात हैं। भाई के रक्षाबंधन पर न आ पाने का मलाल है। दोनों ने खुद स्नेह की डोर से सजी राखी बनाई। भाई को भेजा है, भूमिका ने जो चिठ्ठी राखी के साथ भेजी है, उसमें साफ कहा है कि भइया आप रक्षाबंधन पर नहीं आ पाए, कोई बात नहीं। लेकिन चीन आंख दिखाए तो आंखें निकाल लेना। चौमुहां विकास खंड के गांव अगरयाला के ठाकुर थान सिहं पहलवान के चार बेटे और दो बेटियां हैं। सबसे छोटा अनिल सेना में है। तैनाती अरुणाचल प्रदेश के चीन बॉर्डर पर है। दो साल से राखी पर वह नहीं आ पाए। इस बार चीन बॉर्डर पर तैनाती है, तो बड़ी बहन किरण और छोटी बहन रेखा ने भाई के लिए राखी भेजी है। कहती हैं कि भाई पर गर्व है, देश की रक्षा के लिए चीनी सीमा पर सीना ताने खड़ा है। अनिल 10 फरवरी 2018 को सेना में भर्ती हुए और पांच माह से चीन सीमा पर तैनाती है। नंदगांव निवासी सुदामा लोहकना 2016 में सेना में भर्ती हुए। लेह लद्दाख में तैनाती है। 15 दिनों से में दिल्ली से कांफ्रेंस के जरिए बात होती है। दो छोटी बहन चंचल और मनीषा कहती हैं कि इससे ज्यादा गर्व की बात क्या होगी कि भाई देश की रक्षा में तैनात है। हमने तो राखी भेज दी है, चिठ्ठी भी लिख दी और कह दिया है कि भइया चीन को मुंहतोड़ जवाब देना।