कैसे काम करता है वायरलेस चार्जर, जानें मन में आने वाले हर सवाल का जवाब
नए स्मार्टफोन्स में आ रही वायरलेस टेक्नोलॉजी का आज के समय का किस तरह कर सकते हैं इस्तेमाल और किस तरह करती है यह काम, पढ़ें विस्तार में
नई दिल्ली (साक्षी पण्ड्या)। वायरलेस चार्जिंग आईफोन 8, आईफोन 8 प्लस, आईफोन X, सैमसंग गैलक्सी S8, गैलेक्सी S7, नोट 8 में आने के बाद ज्यादा पॉपुलर हो गई है। लेकिन इस नई टेक्नोलॉजी के स्मार्टफोन्स में आने के बाद कई लोगों के मन में सवाल उठे होंगे की आखिर वायरलेस चार्जिंग है क्या और इसका इस्तेमाल कैसे होता है?
अधिकतर वायरलेस चार्जर मैग्नेटिक इंडक्शन का इस्तेमाल करते हैं। इसके अंतर्गत यूजर्स को डिवाइस चार्ज करने के लिए किसी वायर की जरुरत नहीं होती। डिवाइस को चार्जर पर रखते ही चर्जिंग शुरू हो जाती है।
कैसे करता है वायरलेस चार्जिंग काम?
वायरलेस चार्जिंग असल में वायरलेस नहीं होती। हालांकि, आपके स्मार्टफोन, स्मार्टवॉच, वायरलेस हेडफोन्स या किसी भी अन्य डिवाइस को चार्ज होने के लिए वायर की जरुरत नहीं होगी। लेकिन वायरलेस चार्जर को काम करने के लिए वॉल से प्लग करना पड़ेगा ताकि वो काम कर सके।
इसको बेहतर तरीके से समझने के लिए आपको यह समझना होगा की वायरलेस चार्जर किस तकनीक पर कार्य करता है। यह चार्जर मैग्नेटिक इंडक्शन पर कार्य करते हैं। इसका मतलब एनर्जी को एक स्थान से दूसरे स्थान भेजने के लिए ये मेग्नेटिस्म का प्रयोग करते हैं।
उदाहरण के लिए-
- आप अपने स्मार्टफोन को वायरलेस चार्जर पर रखेंगे।
- दीवार से आ रहा करंट वायरलेस चार्जर में मौजूद वायर में आ कर मैग्नेटिक फील्ड पैदा करेगा।
- यह मैग्नेटिक फील्ड वायरलेस चार्जर पर रखी डिवाइस में मौजूद कोइल में करंट पैदा करेगा।
- यह मैग्नेटिक एनर्जी इलेक्ट्रिकल एनर्जी में बदल जाएगी, जिसे बैटरी चार्ज करने के लिए इस्तेमाल किया जाता है।
- डिवाइस में वायरलेस चार्जर को सपोर्ट करने के लिए सही हार्डवेयर का होना जरुरी है। जरुरी कोइल के बिना डिवाइस को वायरलेस चार्ज नहीं किया जा सकता।
एप्पल ने बदली अपनी रणनीति:
आईफोन 5 के रिलीज के समय उसमे वायरलेस चार्जिंग सपोर्ट मौजूद नहीं था। उस समय प्रतिद्वंदी एंड्रॉयड और विंडोज फोन में यह सुविधा उपलब्ध थी। तब एप्पल के Phil ने यह कहा था की -एक डिवाइस को चार्ज करने के लिए आपको दूसरी डिवाइस को दीवार से प्लग करना होगा। अधिकतर परिस्थितियों में यह कामगर नहीं होगा।
पांच साल बाद, एप्पल ने अपनी सोच में बदलाव किया और Qi वायरलेस चार्जिंग को अपने नए हैंडसेट्स आईफोन 8, 8 प्लस एयर आईफोन X में पेश किया।
Qi वायरलेस चार्जर में क्या है अलग?
वैसे तो Qi चार्जर मैग्नेटिक इंडक्शन तक ही सीमित थे, लेकिन अब यह मैग्नेटिक रेजोनेन्स भी सपोर्ट करता है। यह भी ऊपर दिए गई विधि की ही तरह कार्य करता है। इसमें अंतर केवल इतना ही है की इसमें सरफेस से सीधे टच में रहने की जरुरत नहीं होती। यह 45mm की दूरी से भी कार्य कर सकता है। इसकी खैस्यत यह है की इसे आप टेबल या किसी और जगह रख कर भी आसानी से अपनी डिवाइस को चार्ज कर सकते हैं। इसी के साथ सिंगल चार्जिंग पैड पर मल्टीपल डिवाइस चार्ज की जा सकती हैं।
वायरलेस चार्जर का आज किस तरह करें इस्तेमाल:
वायरलेस चार्जर के काम करने की तकनीक को छोड़ दिया जाए तो वायरलेस चार्जिंग का इस्तेमाल करना बेहद आसान है। अगर आपको अपना स्मार्टफोन वायरलेस चार्ज करना है तो आपको ऐसे स्मार्टफोन की जरुरत होगी जो वायरलेस चार्जिंग को सपोर्ट करता हो। इसी के साथ आप फोन में वायरलेस चार्जिंग एड करने के लिए आप सपोर्टिंग अडेप्टर्स भी खरीद सकते हैं।
पॉपुलर स्मार्टफोन्स जो वायरलेस चार्जिंग सपोर्ट करते हैं:
- एप्पल आईफोन 8, आईफोन 8 प्लस और आईफोन X
- सैमसंग गैलक्सी नोट 8 और सैमसंग गैलक्सी नोट 5
- सैमसंग गैलक्सी S8, S8+, S8 Active, S7, S7 Edge, S7 Active
- एलजी G6 (US and Canada versions only) और एलजी V30
- मोटोरोला मोटो Z, मोटो Z Play, मोटो Z2 Force, मोटो Z2 Play (केवल वायरलेस चार्जिंग Mod के साथ)
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