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5जी इंटरनेट सर्विस का देश के कोने-कोने में हो रहा विस्तार, ऐसे करें इस्तेमाल

How To Use Fastest Internet Service 5G देश में फिलहाल दो ही टेलीकॉम कंपनियों द्वारा 5जी सर्विस उपलब्ध करवाई जा रही हैं। 5जी सर्विस फिलहाल रिलायंस जियो और एयरटेल की ओर से ही पहुंचाई जा रही हैं। (फोटो- जागरण)

By Jagran NewsEdited By: Shivani KotnalaPublished: Thu, 16 Mar 2023 02:09 PM (IST)Updated: Thu, 16 Mar 2023 02:09 PM (IST)
5जी इंटरनेट सर्विस का देश के कोने-कोने में हो रहा विस्तार, ऐसे करें इस्तेमाल
How To Use Fastest Internet Service 5G Know How To Port Sim, Pic Courtesy- Jagran File

नई दिल्ली, संतोष आनंद। देश में एयरटेल और जियो की 5जी सेवाएं 400 से अधिक शहरों में शुरू हो चुकी हैं। अगर आपके टेलीकाम सर्विस प्रोवाइडर ने अभी 5जी सेवाएं शुरू नहीं की हैं, तो 5जी की स्पीड हासिल करने के लिए सिम या मोबाइल नंबर को पोर्ट करने पर भी विचार कर सकते हैं। जानते हैं कैसे ऑनलाइन और ऑफलाइन तरीके से मोबाइल नंबर को पोर्ट किया जा सकता है-

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रिलायंस जियो और एयरटेल ऑफर कर रहे हैं 5जी सर्विस

देश में रिलायंस जियो की 5जी सेवाएं 304 शहरों तक पहुंच चुकी हैं, वहीं एयरटेल की 5जी कवरेज फिलहाल 104 शहरों में मौजूद है। मगर वोडाफोन-आइडिया और बीएसएनएल की 5जी सेवाएं फिलहाल शुरू नहीं हुई हैं। अगर आपको 5जी सर्विस कवरेज नहीं मिल रही है, तो आसानी से अपने नंबर को पोर्ट करा सकते हैं।

सिम कैसे कर सकते हैं पोर्ट

सिम को ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों ही तरीकों से पोर्ट किया जा सकता है। सिम या नंबर को पोर्ट करने के लिए पहले एक मैसेज करना होता है। सबसे पहले पोर्ट (PORT) लिख कर स्पेस दें, फिर जिस मोबाइल नंबर को पोर्ट करना चाहते हैं, वह नंबर लिखकर 1900 पर एमएमएस कर दें।

ध्यान रखना है कि उसी नंबर से एसएमएस भेजें, जिसे आप दूसरी कंपनी में पोर्ट कराना चाहते हैं। इसके बाद मोबाइल नंबर पर आठ अंकों वाला यूनिक पोर्टिंग कोड (यूपीसी) प्राप्त होगा। यूनिक पोर्टिंग कोड पूरे देश में चार दिनों के लिए मान्य होता है।

हालांकि, असम, जम्मू-कश्मीर और उत्तर-पूर्व में यह कोड 30 दिनों तक के लिए मान्य होता है। यूपीसी को नये आपरेटर के पास जमा कराना जरूरी होता है। इसके लिए अपने निकटतम सेवा आपरेटर के कार्यालय/स्टोर पर जाएं। फिर मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी के लिए आवश्यक दस्तावेजों के साथ आठ अंकों वाला यूपीसी नंबर जमा करें।

इसके लिए ग्राहक से 5.74 रुपये की एक छोटी राशि आपरेटर द्वारा शुल्क के तौर पर ली जाती है। फिर जिस नये दूरसंचार आपरेटर में अपना मोबाइल नंबर पोर्ट करते हैं, वह आपके पुराने सेवा प्रदाता को बकाया मोबाइल बिल भुगतान के बैकग्राउंड वेरिफिकेशन के लिए एक अनुरोध भेजेगा।

एक बार सत्यापन प्रक्रिया पूरी हो जाने के बाद नया दूरसंचार आपरेटर आपको एसएमएस के माध्यम से मोबाइल सिम पोर्ट की प्रक्रिया के समय और तारीख के बारे में सूचित करेगा। मोबाइल नंबर पोर्ट करने की ट्रांजिशन प्रक्रिया के दौरान फोन की सेवाएं लगभग दो घंटे के लिए बंद रहेंगी। अब अपना नया सिम अपने मोबाइल में डालें और उसे नये नेटवर्क पर एक्टिव कर सकते हैं।

ऑनलाइन कैसे करें पोर्ट

अगर आप चाहें, तो नंबर को ऑनलाइन भी पोर्ट कर सकते हैं। उदाहरण के लिए अगर अपना नंबर एयरटेल में पोर्ट कराना चाहते हैं, तो फिर सबसे पहले आपको एयरटेल को पोर्टिंग रिक्वेस्ट भेजना होगा।

इसके बाद आपको एक यूपीसी मिलेगा। इसके लिए आपको अपने मौजूदा फोन नंबर से PORT टाइप कर एसएमएस 1900 पर भेजना होगा।

इसके बाद आपको एसएमएस के माध्यम से एक कोड मिलेगा। आगे की प्रक्रिया के लिए इस कोड की जरूरत पड़ेगी। फिर एयरटेल की वेबसाइट या एप पर जाएं और अपनी पसंद का रिचार्ज प्लान चुनें। इसके अलावा, एक फार्म में व्यक्तिगत विवरण जैसे कि पता, ईमेल, फोन नंबर आदि भरना होगा।

फार्म भरने के बाद सबमिट पर टैप करें। पोर्ट रिक्वेस्ट के बाद एयरटेल के एग्जिक्यूटिव की काल आएगी, जो नये एयरटेल सिम की डिलीवरी के बारे में सूचित करेगा।

जब एयरटेल का एग्जिक्यूटिव सिम देने आएगा, तो पहचान और पते का प्रमाण दिखाना होगा, जैसे कि आधार कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, बिजली बिल या कोई अन्य प्रमाण।

इसके साथ यूपीसी कोड भी दिखाना होगा, जो आपको पहले मिला था। एक बार जब आपको सिम मिल जाता है, तो आपका मौजूदा नंबर 48 घंटों के भीतर सक्रिय हो जाएगा। कमोबेश मोबाइल पोर्टिंग की प्रक्रिया एक जैसी ही होती है।

ऑफलाइन ऐसे करें सिम पोर्ट

अगर पारंपरिक या ऑफलाइन तरीके से नंबर को पोर्ट करवाना चाहते हैं, तो अपने आसपास के क्षेत्र में उस टेलीकाम प्रोवाइडर के स्टोर पर जाएं, जिसमें नंबर पोर्ट कराना चाहते हैं।

अपने साथ कुछ महत्वपूर्ण दस्तावेज यानी आधार कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, बिजली बिल आदि भी ले जाएं। नंबर पोर्ट कराने के लिए आइडेंटिटी प्रूफ और एड्रेस प्रूफ की जरूरत होगी।

ऑनलाइन की तरह आपको यहां पर भी यूपीसी कोड जेनरेट करना होगा। इसके लिए मौजूदा फोन नंबर से पोर्ट लिखने बाद स्पेस देकर 1900 पर एसएमएस भेजना होगा। फिर यूपीसी कोड प्राप्त होगा।

ऑफलाइन स्टोर पर जाने के बाद वहां पर आपसे आपका वैकल्पिक मोबाइल नंबर, एड्रेस प्रूफ, यूपीसी कोड और साथ ही ओटीपी मांगा जाएगा। एक बार जब इन सभी दस्तावेजी औपचारिकताओं को पूरा कर लेते हैं, तो आपको प्रारंभिक रिचार्ज योजना के लिए भुगतान करना होगा।

इसके बाद 48 घंटे के भीतर आपका सिम पोर्ट कर दिया जाएगा।

इन बातों का रखें ध्यान

  • पोस्टपेड मोबाइल कनेक्शन के लिए यूजर को मौजूदा दूरसंचार सेवा प्रदाता के सभी बकाये का भुगतान करना होगा, इसके बाद ही नंबर पोर्ट करने की प्रक्रिया शुरू होगी।
  • सामान्य बिलिंग चक्र के अनुसार कोई भी बिल बकाया नहीं होना चाहिए।
  • वर्तमान आपरेटर के नेटवर्क पर कम से कम 90 दिन होना जरूरी है।
  • मोबाइल नंबर की ओनरशिप में बदलाव के लिए आपका कोई भी रिक्वेस्ट प्रोसेस में नहीं होना चाहिए और यह जरूरी है कि न्यायालय द्वारा मोबाइल फोन नंबर को पोर्ट करने पर कोई रोक नहीं लगाई गई हो।
  • ग्राहक पोर्टिंग रिक्वेस्ट जमा करने के 24 घंटों के भीतर पोर्टिंग रिक्वेस्ट को वापस ले सकते हैं।
  • यदि आप पोर्ट रिक्वेस्ट को रद करना चाहते हैं, तो 'CANCEL' लिखने के बाद स्पेस दें फिर अपना 10 अंकों का मोबाइल नंबर दर्ज करने के बाद 1900 पर एसएमएस कर दें।


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