Move to Jagran APP

खतरनाक और नकली ऐप से इन 5 तरीकों से बचाएं अपने स्मार्टफोन को

इन 5 तरीकों की मदद से यूजर्स नकली और असली ऐप का पता लगा सकते हैं और अपने स्मार्टफोन को हैक होने या फिर वायरस से बचा सकते हैं।

By Shridhar MishraEdited By: Published: Fri, 10 Aug 2018 12:57 PM (IST)Updated: Mon, 13 Aug 2018 07:38 AM (IST)
खतरनाक और नकली ऐप से इन 5 तरीकों से बचाएं अपने स्मार्टफोन को
खतरनाक और नकली ऐप से इन 5 तरीकों से बचाएं अपने स्मार्टफोन को

नई दिल्ली(टेक डेस्क)। किसी भी फोन को आम से खास बनाते हैं उसमें मौजूद ऐप्स। इन ऐप्स की मदद से आप अपनी पसंद के किसी भी फीचर्स को स्मार्टफोन में डाउनलोड कर सकते हैं। उदाहरण के लिए अगर आप अपने स्मार्टफोन में क्रिकेट गेम खेलना चाहते हैं, तो आपको ऐप स्टोर पर जाकर क्रिकेट का ऐप डाउनलोड करना होगा। ऐसे में अगर आपने गलत जगह से या फिर गलत ऐप को डाउनलोड कर लिया, तो आपका स्मार्टफोन हैक भी हो सकता है। कई हैकर्स फेक(नकली) ऐप के जरिए स्मार्टफोन को हैक करते हैं। इन फेक ऐप से आपके फोन में वायरस भी आ सकता है। तो आज हम आपको उन 5 तरीकों के बारे में बताने जा रहे हैं, जिनकी मदद से आप नकली और असली ऐप का पता लगा सकते हैं।

loksabha election banner

ऑफिशियल ऐप स्टोर से करें डाउनलोड

हमेशा ऑफिशियल ऐप स्टोर से ही अपने फोन या टैबलेट में ऐप को डाउनलोड करें। दरअसल कई बार यूजर्स फ्री ऑफर या झूठे झांसों में फंस कर किसी दूसरी जगह से ऐप को डाउनलोड कर लेते हैं। इससे फोन के हैक होने से लेकर फोन में वायरस आने तक का खतरा बढ़ जाता है। उदाहरण के लिए अगर आप किसी ऐप को गूगल प्ले स्टोर से डाउनलोड करते हैं, तो आप उस ऐप से जुड़ी जानकारी और फीडबैक को देख सकते हैं। इसके अलावा आप किसी ऐप की शिकायत भी गूगल पर कर सकते हैं। जबकि अगर आप किसी ऐप को दूसरी जगह पर डाउनलोड करते हैं तो आपको ऐसी कोई भी सुविधा नहीं मिलती है।

ऐप के बारे में पढ़ें

किसी भी ऑफिशियल ऐप स्टोर पर आपको ऐप के बारे में सारी जानकारी पढ़ने को मिलती है। लेकिन अगर प्ले स्टोर पर आपको किसी ऐप की जानकारी न मिले तो इसका मतलब कि वो ऐप नकली(फेक) है। इसके अलावा अगर किसी ऐप की जानकारी में कई स्पेलिंग या ग्रामर की गलती दिखें तो समझ लिजिए कि वो ऐप नकली है। दरअसल कोई भी ऑफिशियल ऐप अपनी जानकारी में गलत स्पेलिंग या ग्रामर का इस्तेमाल नहीं करती है।

डेवलपर के बारे में लगाएं पता

डेवलपर को अगर आसान भाषा में समझें तो बनाने वाला। यह कोई संस्था या व्यक्ति भी हो सकता है। इस तरह अगर कोई ऐप है, तो उसे बनाने वाला भी कोई होगा। ऐसे में किसी भी ऐप को डाउनलोड करने से पहले उसके डेवलपर के बारे में पता लगाएं। अगर डेवलपर की पूरी जानकारी नहीं मिलती है या फिर कोई गड़बड़ लगती है, तो ऐप को डाउनलोड न करें।

डाउनलोड्स

किसी भी ऐप को डाउनलोड करने से पहले इस बात का जरूर ध्यान दें कि उस ऐप को ऐप स्टोर पर कितने यूजर्स ने डाउनलोड किया है। फेक ऐप की डाउनलोडिंग नंबर रियल ऐप के मुकाबले आपको हमेशा कम होती है।

रिव्यू

किसी भी ऐप का पता लगाने का सबसे सही तराकी रिव्यू है। ये रिव्यू यूजर्स की तरफ से दिए जाते हैं। यानी किसी भी यूजर का किसी भी ऐप को लेकर क्या अनुभव रहा इसका अंदाजा रिव्यू से लगाया जा सकता है।

यह भी पढ़ें:

Microsoft Office Excel फाइल को चोरी होने से बचाएं, इस तरह लगाएं पासवर्ड

फोन खरीदते वक्त की गई ये 5 गलतियां पड़ सकती हैं बहुत भारी

इन 5 तरीकों की मदद से देश के किसी भी कोने में नहीं जाएंगे आपके फोन की सिग्नल 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.