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Ishan Kon Vastu Tips: क्या है ईशान कोण? जानें यहां क्यों नहीं होना चाहिए बेडरूम

Ishan Kon Vastu Tips ईशान दिशा को वास्तु में एक पवित्र दिशा के रूप में माना गया है। आइये जानते हैं वास्तुकार संजय कुड़ी से कि ईशान दिशा में बेडरूम बनाने के आप पर किस प्रकार के प्रभाव पड़ते हैं।

By Jeetesh KumarEdited By: Published: Mon, 28 Jun 2021 01:00 PM (IST)Updated: Tue, 29 Jun 2021 07:12 AM (IST)
Ishan Kon Vastu Tips: क्या है ईशान कोण? जानें यहां क्यों नहीं होना चाहिए बेडरूम
क्या है ईशान कोण? जानें यहां क्यों नहीं होना चाहिए बेडरूम

Ishan Kon Vastu Tips: वास्तु के अनुसार प्रमुख रूप से 8 दिशाएं होती हैं। उत्तर, पूर्व, दक्षिण और पश्चिम के अतिरिक्त चार अन्य दिशाओं को आग्नेय, नैऋत्य, वायव्य और ईशान दिशा के रूप में जाना जाता है। इन सभी दिशाओं का अपना महत्व है, लेकिन इन सब में से भी ईशान दिशा को विशेष स्थान दिया गया है। इसे वास्तु में एक पवित्र दिशा के रूप में माना गया है, लेकिन क्या इस पवित्र दिशा में बेडरूम बनाया जा सकता है और यहां अगर बेडरूम स्थित है, तो उसके क्या प्रभाव होते हैं? तो आइये जानते हैं वास्तुकार संजय कुड़ी से कि ईशान दिशा में बेडरूम बनाने के आप पर किस प्रकार के प्रभाव पड़ते हैं।

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ईशान दिशा की विशेषता

ईशान दिशा उत्तर और पूर्व दिशा के बीच स्थित दिशा है। प्रकृति के तीन गुणों में सत्व, रजस और तमस में से सत्व गुण इस दिशा का गुण है, अतः ईशान में वही गतिविधियां की जानी चाहिए, जो उसके गुणों से मेल खाती हों।

ईशान दिशा में बेडरूम

ईशान दिशा को बेडरूम निर्मित करने के लिए अनुपयुक्त माना गया है, विशेष रूप से शादीशुदा लोगों के लिए यहां पर बेडरूम का निर्माण बिलकुल भी नहीं किया जाना चाहिए| यहां स्थित जल तत्व और इस दिशा के गुण बेडरूम के निर्माण के लिए जरुरी ऊर्जाओं और गुणों के अनुरूप नहीं माने जाते हैं।

ईशान दिशा में स्थित बेडरूम के प्रभाव

अगर यहां पर स्थित बेडरूम में मैरिड कपल्स सोते हैं, तो यह उनकी जिन्दगी में तनाव का कारण बन सकता है। यह तनाव शारीरिक और मानसिक दोनों प्रकार का हो सकता है। इस दिशा में लम्बे समय तक सोना आपके स्वास्थ्य पर भी विपरीत असर डालता है, अतः बेडरूम बनाने के लिए इस दिशा को अपने विकल्पों से बाहर निकाल दें।

ईशान दिशा के अनुकूल गतिविधियां

ईशान यानी की उत्तर-पूर्व दिशा के अंदर अंडरग्राउंड वाटर टैंक का निर्माण किया जा सकता है। हालांकि इसका निर्माण ठीक ईशान की बजाय उत्तरी या पूर्वी ईशान की ओर किया जाए तो अधिक बेहतर माना जाता है। इसके अलावा यहां पर गार्डन या स्विमिंग पूल भी बनाया जा सकता है। बैठक या अतिथि कक्ष बनाने के लिए भी ईशान एक उपयुक्त दिशा है।

ध्यान रखने योग्य कुछ बातें

1- ईशान दिशा को चूंकि यहां स्थित सात्विक ऊर्जाओं के चलते एक पवित्र दिशा का दर्जा दिया गया है, अतः इस स्थान पर गंदगी या कचरा रखना अशुभ होता है।

2- ईशान दिशा में टॉयलेट का या सीढ़ियों का निर्माण भी नहीं किया जाना चाहिए।

डिसक्लेमर

'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।'

 


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